डीएनए हिंदीः आज यानी 6 सितंबर और 7 सितंबर दो दिन जन्माष्टमी मनाई जा रही है. जन्माष्टमी के दिन लड्डू गोपाल को पंचामृत और धनिया की पंजीरी का भोग लगाना सबसे जरूरी होता है. आज के दिन कान्हा के लिए 256 प्रकार के भोग बनते हैं लेकिन धनिया की पंजीरी और पंचामृत के बिना जन्माष्टमी अधूरी है.
माना जाता है कि श्रीकृष्ण को धनिया अति प्रिय है, जिसके कारण उन्हें आज भी उनके जन्मोत्सव के दिन पर धनिया पंजीरी का प्रसाद भोग के रूप में चढ़ाया जाता है. वैसे तो कान्हा जी का प्रिय माखन मिश्री का भोग लगाना भी जरूरी होता है लेकिन धनिया की पंजीरी और पंचामृत भी जरूरी है. तो चलिए आज आपको धनिया की पंजीरी और पंचामृत बनाने का सही तरीका बताएं.
पंचामृत बनाने का तरीका - Ingredients for Panchamrit
पंचामृत बनाने के लिए इन 5 सामग्रियों कच्चे दूध, दही, चीनी, शहद और घी की जरूरत होती है. इन सभी सामग्री को आप मिलाकर पंचामृत बनाए और इससे सबसे पहले लड्डू गोपाल को स्नान कराएं.
पंचामृत से भगवान के स्नान का मंत्र:
पयोदधिघृतं चैव मधु च शर्करायुतं।
पंचामृतं मयानीतं स्नानार्थं प्रतिगृह्यताम ॥
पंचामृत में आप स्वाद के लिए गरी, मखाना, चिरौंजी, किशमिश आदि भी मिला सकते हैं.
धनिया की पंजीरी कैसे बनाएं-How to make Dhaniya Panjiri Prasad
पंजीरी सामग्री - Ingredients for Dhania Panjiri Prasad
धनियां पाउडर- 100 ग्राम (एक कप), देशी घी - 3 टेबल स्पून, मखाने - आधा कप, पिसी चीनी या बूरा - आधा कप, पका नारियल - आधा कप (कद्दूकस किया हुआ), काजू ,बादाम - 10 - 10 चिरौंजी - एक चम्मच
विधि
कढ़ाई में 1 टेबल स्पून घी डालिये और बारीक पिसे धनिये को अच्छी सुगन्ध आने तक भून लिजिये कुछ लोग साबुत धनियां लेकर पहले उसे भून लेते हैं और बाद में बारीक पीस लेते हैं.मखाने को काट कर चार टुकड़े कर लीजिये और बचा हुआ घी डाल कर घी में तल कर निकाल लीजिये. भुने मखाने को बेलन या किसी भारी चीज से दरदरा कर लीजिये.काजू और बादाम छोटे छोटे काट लीजिये.
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