Pitbull Attack & Pet Laws : पालने जा रहे हैं कुत्ता तो हो जाइए सावधान, ज़रूरी है इन नियमों का पालन करना

डीएनए हिंदी वेब डेस्क | Updated:Aug 03, 2022, 08:56 AM IST

प्रतीकात्मक तस्वीर

Pitbull Attack : भारतीय क़ानून आपके साथ आपके पालतू कुत्ते-बिल्ली या अन्य जानवर को भी सुरक्षित करता है. इसके साथ ही कुछ रेस्पॉन्सिबिलिटी भी जुड़ती है.

डीएनए हिंदी : हाल में एक बेहद दर्दनाक वाकये में एक अस्सी साला महिला को उनका पालतू पिटबुल कुत्ता नोचकर खा गया. यह पहली बार नहीं था जब किसी पालतू कुत्ते (Pitbull Attack) ने किसी व्यक्ति को घायल किया हो? 30 जुलाई को पंजाब में इस कुत्ते ने एक बच्चे के कान चबा लिए. एक ख़बर आस्ट्रेलिया से भी आई जहां पार्क में कुत्ते ने एक घोड़े पर हमला कर दिया.

2018 के एक आंकड़े के अनुसार लगभग 1 करोड़ 80 भारतीय परिवारों में कोई ना कोई पालतू जानवर है. इस डेटा के मुताबिक इनमें से तक़रीबन 95 फ़ीसदी घरों में कुत्ते पाले जाते हैं. इसके साथ आपको यह सूचना सुखद लगेगी कि भारत विश्व के उन कुछ देशों में है जहां एनिमल राइट्स बेहद मज़बूत है. इसका अर्थ यह है कि भारतीय क़ानून आपके साथ आपके पालतू कुत्ते-बिल्ली या अन्य जानवर को भी सुरक्षित करता है. इसके साथ ही कुछ रेस्पॉन्सिबिलिटी भी जुड़ती है.

Owning A Pet :सोसायटी वाले नहीं कर सकते हैं कुत्ता पालने के लिए मना 
अगर आपकी हाउसिंग सोसायटी आपसे कहती है कि अपने कुत्ते या बिल्ली को दूर हटाएं या फिर ख़ास ब्रिड जैसी कोई भी बात करती है तो आप सोसायटी की अथॉरिटी के ख़िलाफ़ ऐक्शन ले सकते हैं. इसके साथ ही क़ानूनी अपील भी दायर कर सकते हैं.

भारतीय क़ानून का सेक्शन 51 (A) g कहता है कि सभी नागरिकों का कर्तव्य है कि वह  सभी जीवित प्राणी के प्रति अच्छा व्यवहार रखे. एनिमल वेलफ़ेयर बोर्ड ऑफ़ इंडिया के अनुसार सोसायटी अथॉरिटी किसी भी व्यक्ति को अपने पालतू को हटाने के लिए बाध्य करती है तो उस सोसायटी के अथॉरिटी पर सेक्शन 11 (Pet Laws) के  तहत ‘जानवरों के ख़िलाफ़ क्रूरता से बचाव’ का केस किया जा सकता है.

सोसायटी के पार्क और गार्डन में घूमने का हक़ है कुत्ते-बिल्लियों को भी
आप अपने पालतू कुत्ते और बिल्ली को पार्क या गार्डन में लेकर तो जाना चाहते हैं पर सोसायटी वाले नहीं ले जाने देते हैं. आप भी इसी गलतफहमी में हैं खुश हो जाएं कि क़ानून में दर्ज है कि लोग पार्क या गार्डन का इस्तेमाल अपने पेट्स  के लिए कर सकते हैं. सोसायटी ज़रूर इसके लिए टाइम फिक्स कर सकती है.

Pitbull Attack : आपकी ज़िम्मेदारी है कि आप दूसरों की सुविधा का ख़याल रखें
क़ानून कुत्ता-बिल्ली या अन्य जानवर पालने के लिए आपको बहुत सारी सुविधाएं देता है पर इसके साथ ही आपके लिए कुछ ज़िम्मेदारियां भी तय करता है. यह पेट ओनर्स की ज़िम्मेदारी मानी जाती है कि वे अपने कुत्ते या बिल्ली की प्रॉपर ट्रेनिंग करवाएं.  इसके साथ-साथ अपने पालतू कुत्तों को एंटी-रेबीज़, DHLPPi और KC वैक्सीन दिलवाएं.

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अपने पेट का रखें ख़याल कि किसी और को नुक़सान ना पहुंचाए
अगर आप कुत्ता या बिल्ली पालते हैं तो आपके लिए यह बेहद ज़रूरी बात है. आपका कुत्ता अगर किसी पर हमला करता है तो उसके ज़िम्मेदार क़ानूनी रूप से केवल आप होंगे. उसके द्वारा जान-माल के किसी भी तरह के नुक़सान में पूरी क़ानूनी ज़िम्मेदारी आपकी बनती है.

(Disclaimer: हमारा लेख केवल जानकारी प्रदान करने के लिए है. अधिक जानकारी के लिए हमेशा किसी विशेषज्ञ या अपने चिकित्सक से परामर्श करें.) 

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