डीएनए हिंदीः हर साल 31 मई को दुनियाभर में 'विश्व तंबाकू निषेध दिवस' (No Tobacco Day) मनाया जाता है. इस दिन को मनाने का उद्देश्य लोगों को तंबाकू से जुड़े खतरों के बारे में समझाना और उन्हें जागरूक करना है. तंबाकू से जुड़ी बीमारियों के चलते दुनियाभर में हर साल लगभग 80 लाख लोग अपनी जान गंवा देते हैं. WHO ने तंबाकू के इस्तेमाल को कई गंभीर बीमारियों से जोड़ा है, जिसमें से कैंसर एक प्रमुख बीमारी है.
तंबाकू-सिगरेट का सेवन करने वाले अधिकतर लोगों को इस बात की जानकारी होती है कि इससे कई बीमारियां हो सकती हैं, लेकिन फिर भी लोग इसका सेवन धड़ल्ले से करते हैं...
नुकसान जानने के बावजूद क्यों करते हैं तंबाकू का सेवन
वहीं, तंबाकू से जुड़े नुकसान के बारे में जानकारी होने के बावजूद भी लोग इससे दूरी नहीं बना पाते हैं और तंबाकू सिगरेट का सेवन करते रहते हैं. दरअसल, तंबाकू-सिगरेट में निकोटिन नाम का एक नशीला पदार्थ होता है, जो शरीर में जाकर कई गंभीर बीमारियों के जन्म का कारण बनता है. इतना ही नहीं निकोटिन स्टीमुलेंट और सेडेटिव के रूप में काम करता है. ऐसे में जब कोई व्यक्ति सिगरेट के धुएं को सांस के जरिए अंदर लेता है तो इससे निकोटिन शरीर के अंदर प्रवेश कर जाता है.
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जिसकी वजह से निकोटिन मस्तिष्क में डोपामाइन नाम का एक केमिकल रिलीज करता है, और इससे लोगों को अच्छा महसूस होता है. वहीं निकोटिन को दिमाग तक पहुंचने में सिर्फ 10 सेकंड का समय लगता है. इसके अलावा जिन लोगों में डिप्रेशन की समस्या देखी जाती है, उनमें निकोटिन की मात्रा कम पाई जाती है. यही वजह है कि कई डिप्रेसिव लोग स्मोकिंग जल्दी करना शुरू कर देते हैं.
तंबाकू से होने वाली गंभीर बीमारियां
तंबाकू में मौजूद निकोटिन एक हानिकारक केमिकल है, इसकी वजह से शरीर को कई गंभीर बीमारियां लग सकती हैं. वहीं तंबाकू-सिगरेट से होने वाली एक प्रमुख बीमारी 'फेफड़े का कैंसर' है. साथ ही इसके प्रभाव से ब्लड, ब्लैडर, लिवर, किडनी, पैनक्रियाज, कोलन और पेट सहित कई तरह के कैंसर होने का खतरा बढ़ जाता है.
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इतना ही नहीं, तंबाकू दिल से जुड़ी बीमारियों, डायबिटीज, हाई ब्लड प्रेशर, दिमागी दौरा, स्ट्रोक और हार्ट अटैक का जोखिम बढ़ाने का भी काम करता है.
(Disclaimer: हमारा लेख केवल जानकारी प्रदान करने के लिए है. अधिक जानकारी के लिए हमेशा किसी विशेषज्ञ या अपने चिकित्सक से परामर्श करें.)
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