120 साल जीते हैं पाकिस्तान के इस समुदाय के लोग, कभी बीमार भी नहीं पड़ते

पाकिस्तान में एक इलाका ऐसा है जहां लोग 120 साल तक जिंदा रहते हैं और यहां की स्त्रियां 90 साल तक गर्भवती होने की क्षमता रखती हैं.

दुनिया भर में तरह-तरह की बीमारियों का खतरा बढ़ता जा रहा है. लोगों का जीवनकाल कम होता जा रहा है. कम उम्र में ही लोग बड़ी-बड़ी बीमारियों के शिकार हो रहे हैं. एक तरफ ये सारी समस्याएं हैं, वहीं दूसरी तरफ दुनिया का एक कोना ऐसा है जहां कोई बीमारी नहीं है. यहां के लोग ना सिर्फ फिट हैं बल्कि 120 साल तक जीते भी हैं. 
 

हुंजा घाटी

दुनिया का ये कोना पाकिस्तान में है. उत्तरी पाकिस्तान की हुंजा घाटी में रहने वाले हुंजा समुदाय के लोगों पर कई तरह की रिसर्च और रिपोर्ट प्रकाशित हो चुकी हैं.  इन रिपोर्ट्स के मुताबिक इस घाटी में रहने वाले लोग शारीरिक रूप से इतने मजबूत होते हैं कि उन्हें कोई बीमारी नहीं छू पाती है. इन्हें दुनिया के सबसे लंबे उम्र तक जीने वाले, खुश रहने वाले और स्वस्थ लोगों में गिना जाता है. 
 

120 सालों का जीवनकाल

इनका औसत जीवनकाल लगभग 120 सालों का होता है, जो दुनिया के किसी भी देश के किसी समुदाय से ज्यादा है. इनके अनोखे तौर-तरीकों के कारण इनपर कई किताबें भी लिखी जा चुकी हैं. फिल्में भी बन चुकी हैं. जेम्स हिल्टन के उपन्यास लॉस्ट हॉरिजन में भी हुंजा वेली के लोगों का जिक्र किया गया है. इसी किताब पर बाद में फ्रैंक कापरा की एक फिल्म भी आई थी. 

कभी नहीं हुआ कोई बीमार

बात सिर्फ यहीं खत्म नहीं होती. नोमैडिक वेबसाइट के मुताबिक यहां की महिलाएं 60 से 90 साल की उम्र तक गर्भवती होने की क्षमता रखती हैं. कई डॉक्टर और रिसर्चर इस समुदायक के साथ रहे भी ताकि उनके जीवन से जुड़ी अन्य बातों के बारे में जानकारी जुटाई जा सके. ऐसे ही एक वैज्ञानिक थे डॉ. रॉबर्ट मैकरिसन. वह कई सालों तक इस समुदाय के साथ रहे. उन्हें इस दौरान एक भी व्यक्ति ऐसा नहीं मिला जिसे कैंसर, अल्सर या किसी अन्य तरह की कोई बीमारी हुई हो.

साफ पानी, शुद्ध हवा

बताया जाता है कि हुंजा घाटी के लोगों का लाइफस्टाइल दुनिया के बाकी लोगों से काफी अलग है. यही वजह है कि उनका जीवनकाल ज्यादा लंबा और बेहतर है. यहां की मिट्टी भी काफी उपजाऊ है जिसके चलते अच्छी खेती करना यहां मुश्किल नहीं होता. यहां का पानी भी बेहद साफ और शुद्ध है. 
 

कच्ची सब्जी और फल है मुख्य आहार

हुंजा वैली एक पहाड़ी पर स्थित है. इस पहाड़ी पर स्थित कई गांव कई हजार साल पुराने हैं. जबकि कई गांव सिर्फ सौ-दो सौ साल ही पुराने हैं.उनके खाने में बिलकुल शुद्ध आर्गेनिक सब्जी और फल शामिल होते हैं. जिससे उन्हें ज्यादा ताकत मिलती है. 

डॉक्टरों ने भी की रिसर्च

डॉक्टरों द्वारा यहां के लोगों पर की गई रिसर्च बताती है कि यहां के लोग सिर्फ लंबा जीते ही नहीं हैं, बड़ी उम्र तक फिट भी रहते हैं. उनका इम्यून सिस्टम शानदार होता है. ये लोग पौधों से मिलने वाले फल और सब्जी ही खाते हैं. यहां होने वाली मुख्य खेती की चीजे हैं अंगूर, बेर, चेरी और आड़ू. इसके अलावा वे लोग गेहूं, ज्वार और दालें भी उगा लेते हैं.