डीएनए हिंदी: Sawan Vinayak Chaturthi 2022 Shubh Muhurat- हर माह शुक्ल पक्ष की चतुर्थी तिथि को विनायक चतुर्थी व्रत रखा जाता है. श्रावण मास में इस पर्व का महत्व अधिक बढ़ जाता है. मान्यता है कि विनायक चतुर्थी के दिन भगवान गणेश की आराधना करने से और उनकी विशेष पूजा करने से भक्तों के सभी कष्ट दूर हो जाते हैं. श्रावण मास में यह पर्व 1 अगस्त को रखा जाएगा. इस दिन व्रत रखने से भी भगवान का आशीर्वाद प्राप्त होता है. सावन मास में भगवान शिव के परिवार की पूजा की जाती है. इसलिए विनायक चतुर्थी व्रत का बहुत महत्व है.
हिन्दू पंचांग के अनुसार शुक्ल पक्ष की चतुर्थी तिथि 01 अगस्त को होगा. चतुर्थी तिथि का प्रारंभ 01 अगस्त को प्रातः 04:18 पर होगा और इसका समापन 02 अगस्त को 05:13 पर होगा. उदयातिथि के अनुसार विनायक चतुर्थी व्रत 01 अगस्त को रखा जाएगा.
सावन विनायक चतुर्थी पर दो अत्यंत शुभ-योग का निर्माण हो रहा है. इस दिन रवि योग और शिव योग का निर्माण हो रहा है. शास्त्रों के अनुसार रवि और शिव योग में भगवान श्री गणेश की पूजा करने से बहुत शुभ परिणाम प्राप्त होते हैं.
रवि योग: सुबह 05:42 बजे से शाम 04:06 बजे तक
शिव योग: शाम 07:04 बजे से शुरू
माना जाता है कि विनायक चतुर्थी के दिन चंद्रमा को नहीं देखना चाहिए. वह इसलिए क्योंकि गणेश जी चंद्रमा को श्राप दिया था. ऐसे में कलंक लगने और जीवन में मुश्किलों के आने का खतरा बढ़ जाता है. इसलिए व्रत वाले दिन आकाश की ओर नहीं देखना चाहिए. बता दें कि शुक्ल पक्ष में चंद्रोदय सुबह ही हो जाता है. ऐसे में 01 अगस्त को चंद्रोदय सुबह 08:41 पर होगा और अस्त 09:37 पर होगा.
Sawan 2022: जब भगवान शिव ने गाया राग भैरवी, जानिए क्या है इसके पीछे की पौराणिक कथा
(Disclaimer: यहां दी गई जानकारी सामान्य मान्यताओं और जानकारियों पर आधारित है. डीएनए हिंदी इसकी पुष्टि नहीं करता है.)
देश-दुनिया की ताज़ा खबरों Latest News पर अलग नज़रिया, अब हिंदी में Hindi News पढ़ने के लिए फ़ॉलो करें डीएनए हिंदी को गूगल, फ़ेसबुक, ट्विटर और इं