Photos: भागलपुर में 5 लाख 8 हजार दीयों से जगमगाए मर्यादा पुरुषोत्तम, मिला वर्ल्ड रिकॉर्ड का दर्जा

रामनवमी के पर्व को लेकर पूरे देश में हर्षोल्लास का माहौल है.

वहीं बिहार में भी इसे लेकर खास तैयारियां की जा रही हैं. इसी क्रम में भागलपुर में नववर्ष आयोजन समिति की ओर से लाजपत पार्क मैदान में 5 लाख दीयों से श्री राम की मूर्ति का 8 हजार स्क्वायर फिट में चित्रांकन किया गया. इस ऐतिहासिक लम्हे का साक्षी बनने के लिए लोगों का उत्साह सातवें आसमान पर था.
 

भागलपुर में रचा गया इतिहास

भागलपुर ने एक बार फिर से इतिहास रचा है. यहां लाजपत पार्क मैदान में 5 लाख 8 हजार दीयों से तैयार किए गए भगवान श्रीराम के 8000 फीट के स्वरूप ने विश्व रिकॉर्ड बनाया है. कार्यक्रम का आयोजन भारतीय नववर्ष आयोजन समिति ने किया था.

छह घंटे तक चला कार्यक्रम

लगभग छह घंटे तक चले इस कार्यक्रम में जय श्रीराम के नारे गूंजते रहे. कार्यक्रम का उद्घाटन केंद्रीय मंत्री अश्विनी कुमार चौबे ने किया तो मुख्य अतिथि डिप्टी सीएम तारकिशोर प्रसाद थे. इस दौरान लाजपत पार्क मैदान में 10 हजार से अधिक लोगों की भीड़ उमड़ पड़ी.
 

'कलाकारों ने स्थापित किया कीर्तिमान'

भव्य आयोजन को लेकर उपमुख्यमंत्री तारकिशोर प्रसाद ने कहा, भागलपुर के कलाकारों ने एक कीर्तिमान स्थापित किया है. मर्यादा पुरुषोत्तम राम की तस्वीर को दीयों से सजाकर आम जन की भावना को दर्शाया गया है. उनके चित्र को 5 लाख दीयों से सजाना कठिन काम था. हम सभी कलाकारों को हृदय से बधाई देते हैं. 

'भागलपुर भी अयोध्या हो गया है'

वहीं केंद्रीय राज्य मंत्री अश्विनी चौबे ने इसे अद्भुत और अकल्पनीय बताया. केंद्रीय राज्य मंत्री ने कहा, आज भागलपुर भी अयोध्या हो गया है. लगा रहा है मानो भगवान श्रीराम यहां उतर आए हैं. 5 लाख दीप से विश्व का रिकॉर्ड बन रहा है. मैं भगवान श्रीराम के इस भव्य आयोजन समिति के मुख्य सेक्रेटरी अर्जित शाश्वत चौबे और उनकी पूरी टीम को बधाई देता हूं. ऐसा लग रहा है जैसे भगवान राम की जन्मभूमि और कर्मभूमि, अयोध्या और बक्सर में प्रवेश कर गया हूं.
 

वर्ल्ड रिकॉर्ड यूनियन की टीम ने दिया सर्टिफिकेट

बता दें कि इस दौरान चेन्नई से वर्ल्ड रिकॉर्ड यूनियन की टीम भी भागलपुर पहुंची थी. टीम ने स्पॉट को देखा फिर जज शरीफा के नेतृत्व में दो अन्य सदस्यों ने दीयों की गिनती की. इस दौरान डिजाइनिंग, कलरिंग, फिनिसिंग को परखा गया. शरीफा ने बताया कि पहली बार पूरी दुनिया में इतना बड़ा और दीयों से भगवान श्रीराम का स्वरूप तैयार किया गया. इसी आधार पर सर्टिफिकेट भी दिया गया है.