डीएनए हिंदी: माघ मास के शुक्ल पक्ष की पंचमी को बसंत पंचमी (Basant Panchami) का त्यौहार बड़ी धूमधाम से मनाया जाता है. इस साल यह त्यौहार 5 फरवरी को मनाया जाएगा. इस दिन मां सरस्वती की आराधना कर पीले फूल, फल, चावल आदि चढ़ाकर उन्हें प्रसन्न किया जाता है. वहीं कुछ लोग व्रत रखकर मां सरस्वती का पूजन करते हैं.
क्यों पहनते हैं पीले रंग के कपड़े?
पीले रंग को सुख शांति का प्रतीक मानते हैं. साथ ही पीले रंग को तनाव को दूर करने वाला रंग भी माना जाता है. हिंदू मान्यताओं के अनुसार, बसंत पंचमी के दिन सबसे पहले पीतांबर धारण करके भगवान श्रीकृष्ण ने देवी सरस्वती का पूजन किया था. तब से बसंत पंचमी के दिन सरस्वती पूजन का प्रचलन है. मां सरस्वती को भी पीला रंग बहुत पसंद है. यही कारण ही कि इस दिन पीले वस्त्र पहने जाते हैं.
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ज्योतिष के अनुसार, पीले रंग का संबंध गुरु ग्रह से है जो ज्ञान, धन और शुभता के कारक माने जाते हैं. गुरु ग्रह के प्रभाव से धन बढ़ता है, सुख, समृद्धि प्राप्त होती है. पीले रंग का प्रयोग करने से गुरु ग्रह का प्रभाव बढ़ता है और जीवन में धन, दौलत, मान-यश की प्राप्ति होती है.
बसंत पंचमी का शुभ मुहूर्त
माघ मास के शुक्ल पक्ष की पंचमी तिथि शनिवार सुबह 03 बजकर 47 मिनट से प्रारंभ होगी और अगले दिन रविवार, 6 फरवरी को सुबह 03 बजकर 46 मिनट तक रहेगी. बसंत पंचमी की पूजा सूर्योदय के बाद और पूर्वाह्न से पहले की जाती है. पूजा का शुभ मुहूर्त सुबह 07 बजकर 07 मिनट से 12 बजकर 35 मिनट यानि 5 घंटे 28 मिनट तक का रहेगा.