डीएनए हिंदी: 3 मई से चारधाम यात्रा (Chardham Yatra) की शुरुआत होने जा रही है. चारधाम यात्रा के पहले 45 दिनों के लिए दर्शनार्थियों (visitors) की संख्या का निर्धारण कर दिया गया है. प्रतिदिन सीमित संख्या में ही श्रद्धालु (Devotees) दर्शन कर पाएंगे. मंदिर परिसरों की क्षमता को देखते हुए यह फैसला लिया गया है.
यात्रा काल के पहले 45 दिनों तक बदरीनाथ धाम में सबसे ज्यादा 15 हजार, केदारनाथ धाम में 12 हजार, गंगोत्री में 7 हजार और यमुनोत्री में सबसे कम 4 हजार लोग प्रतिदिन दर्शन कर पाएंगे. दूसरे राज्यों के लोगों को यात्रा में आने के लिए पर्यटन विभाग की वेबसाइट पर पंजीकरण कराना होगा.
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जानिए कब खुलेंगे कपाट
चारों धाम के लिए अप्रैल अंत तक 2,86,523 श्रद्धालु ऑनलाइन पंजीकरण करा चुके थे. यमुनोत्री और गंगोत्री धाम के कपाट 3 मई में खुलेंगे. वहीं केदारनाथ धाम के कपाट 6 मई से और बद्रीनाथ धाम के कपाट 8 मई को खोले जाएंगे. यात्रा के लिए आए श्रद्धालुओं का भी इस बार विशेष ध्यान रखा जाएगा. उनकी थकान दूर करने के लिए फुट मसाज थेरेपी जैसी सुविधाएं दी जाएंगी. पर्यटन विभाग की ओर से उत्तरकाशी और रुद्रप्रयाग जिले में फुट मसाज थेरपी के लिए ट्रेनिंग दी गई है.
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रात 10 बजे से सुबह 4 बजे तक प्रतिबंधित रहेगें यातायात
चारधाम यात्रा के दौरान किसी तरह की बाधा ना आए इसके लिए सारी तैयारियां कर ली गई हैं. सुरक्षा के लिए यात्रा मार्गों पर रात 10 बजे से सुबह चार बजे तक वाहनों के आवागमन पर प्रतिबंध लगाया जाएगा. इतना ही नहीं यात्रा पर आए सभी श्रद्धालुओं को यात्रा के दौरान कोविड से बचने के लिए बनाए गए नियमों के पालन करना होगा.
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