Ratna Shastra: आपकी किस्मत चमका सकता है ये पीला रत्न, सिर्फ इस विधि से धारण करने पर मिलेंगे लाभ

डीएनए हिंदी वेब डेस्क | Updated:Feb 16, 2023, 11:39 AM IST

प्रतीकात्मक तस्वीर

Pukhraj Stone Benefits: कुंडली की ग्रह स्थिति से जातक का जीवन प्रभावित होता है. जातक रत्न धारण करके भी कुंडली के दोषों को कम कर सकते हैं.

डीएनए हिंदी: ज्योतिष शास्त्रों (Ratna Shastra) में कुंडली की ग्रह स्थिति को सुधारने के लिए कई तरह के उपाय बताएं गए हैं. कुंडली की ग्रह स्थिति से जातक का जीवन प्रभावित होता है और उसे कई बार कठिनाइयों का सामना करना पड़ता है. ऐसे में आप ज्योतिष (Jyotish Upay) में बताएं गए उपायों से इन समस्याओं को दूर कर सकते हैं. ज्योतिष में रत्न शास्त्र (Ratna Shastra) के अनुसार भी आप ग्रह को प्रभावित कर सकते हैं. ग्रहों का शुभ फल प्राप्त करने के लिए रत्नों का बहुत अधिक महत्व होता है. कुंडली की ग्रह स्थिति ही हमारे लिए सकारात्मक और नताकात्मकता का कारण बनती है. आज हम आपको कुंडली के दोषों को दूर करने के लिए पुखराज रत्न (Pukhraj Stone) के बारे में बताएंगे. तो चलिए पुखराज रत्न (Pukhraj Stone) धारण करने के लाभ और इसकी विधि के बारे में जानते हैं. 

इन लोगों को पुखराज रत्न धारण करने से होगा लाभ (Pukhraj Stone Benefits)
- पुखराज रत्न का संबंध गुरु ग्रह से होता है गुरु ग्रह को ग्रहों का गुरु कहा जाता है. इस ग्रह को समृद्धि और वृद्धि का कारक माना जाता है. ऐसे में जिनकी कुंडली में गुरु उच्च स्थिति में हो उन लोगों को पुखराज रत्न धारण करना चाहिए.
- रत्न शास्त्र के अनुसार, मीन और धनु राशि के जातक भी पुखराज रत्न धारण कर सकते हैं. गुरु ग्रह मीन और धनु राशि के स्वामी ग्रह है यहीं वजह है कि इन राशियों के जातक भी पुखराज रत्न धारण कर सकते हैं.
- यदि कुंडली में गुरु नीच स्थिति में हो तो पुखराज रत्न धारण करने से बचना चाहिए. नीच स्थिति में गुरु के होने पर पुखराज धारण करने से अशुभ प्रभाव पड़ सकते हैं.

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पुखराज रत्न धारण करने की विधि (Pukhraj Ratna Dharan Vidhi)
पुखराज रत्न धारण करने के लिए आपको इसे बाजार से 7 से 8 रत्ती का खरीदना चाहिए. यह रत्न जातक को गुरुवार के दिन सोने या चांदी में जड़वाकर धारण करना चाहिए. पुखराज रत्न की अंगुठी को धारण करने से पहले इसे गंगाजल या दूध से शुद्ध कर लेना चाहिए. यह दाहिने हाथ की तर्जनी में धारण करना चाहिए. सभी नियमों के साथ किसी ज्योतिष की सलाह पर ही रत्न धारण करना चाहिए.

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(Disclaimer: यहां दी गई जानकारी सामान्य मान्यताओं और जानकारियों पर आधारित है. डीएनए हिंदी इसकी पुष्टि नहीं करता है.) 

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