डीएनए हिंदी: फीफा (FIFA) के एआईएफफ पर प्रतिबंध लगाए जाने के कुछ घंटे बाद ही भारतीय फुटबॉल संघ एक्टिव हो गया था. मामला अब सुप्रीम कोर्ट में पहुंच गया है और भारत के सॉलिसिटर जनरल ने कोर्ट में जल्दी सुनवाई के लिए मंगलवार को अपील की थी. एक अंग्रेजी अखबार में छपी खबर के मुताबिक, प्रशासकों की समिति (सीओए) ने फीफा की लगभग सभी शर्तें मान ली हैं. उम्मीद की जा रही है कि बैन जल्द हट जाएगा और भारत को अंडर 17 की मेजबानी का मौका फिर मिलेगा.
AIFF फीफा की सारी शर्तें मानने के लिए तैयार
सूत्रों का कहना है कि सस्पेंशन रद्द करने के लिए खेल मंत्रालय कोशिश कर रहा है. फीफा की शर्तों के अनुसार एआईएफएफ चुनाव कराने पर सहमत है. बता दें कि मंगलवार को केंद्र सरकार ने मामले को अहम बताते हुए सुप्रीम कोर्ट से जल्दी सुनवाई की मांग की थी. सर्वोच्च न्यायालय ने सुनवाई के लिए बुधवार का दिन तय किया था.
मीडिया में प्रकाशित रिपोर्ट के मुताबिक, सूत्रों ने बताया है कि प्रतिबंध थोड़े समय के लिए ही हो सकता है. एआईएफएफ चुनावों और नए संविधान को लेकर फीफा की लगभग सभी शर्तों को मानने के लिए तैयार हो गया है. खेल मंत्रालय और भारतीय फुटबॉल संघ को अभी भी उम्मीद है कि अंडर-17 महिला वर्ल्ड कप का आयोजन अभी भी भारत में ही होगा.
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FIFA के साथ हुई है लंबी बातचीत
मंत्रालय के सूत्रों का कहना है कि FIFA के साथ हुई फेडरेशन की बातचीत पॉजिटिव नोट पर खत्म हुई है. इस चर्चा में सीओए और दूसरे स्टेकहोल्डर भी शामिल हुए थे. सीओए भी इस चुनाव के लिए 50% वोटिंग अधिकार खिलाड़ियों और खेलों से जुड़े लोगों को देने पर तैयार हो गया है.
सुप्रीम कोर्ट में मामले की सुनवाई जस्टिस डीवाई चंद्रचूड़ और जस्टिस एएस बोपन्ना करेंगे. हालांकि जब तक फीपा सस्पेंशन रद्द नहीं करती है तब तक किसी भी अंतर्राष्ट्रीय फुटबॉल टूर्नामेंट का आयोजन देश में नहीं हो पाएगा.
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