डीएनए हिंदी: आईसीसी वनडे वर्ल्ड कप 2023 में भारतीय क्रिकेट टीम ने लगातार 10 जीत दर्ज कर ली है और फाइनल में प्रवेश कर लिया है. वर्ल्ड कप के पहले सेमीफाइनल मुकाबले में भारत ने न्यूजीलैंड को 70 रनों से हरा दिया. भारत और न्यूजीलैंड के बीच काफी रोमांचक मुकाबला हुआ था. टीम इंडिया के स्टार तेज गेंदबाज मोहम्मद शमी ने एक बार फिर कीवियों बल्लेबाजों की खिल्लियां उड़ा दी. इस मैच में शमी ने कुल 7 विकेट लेकर अपने नाम कई बड़े रिकॉर्ड्स किए हैं. लेकिन इसके बाद भी शमी एक चीज को लेकर काफी निराश है. आइए जानते हैं कि शमी किस चीज को लेकर बुरा मेहसूस कर रहे हैं.
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भारत बनाम न्यूजीलैंड सेमीफाइनल मुकाबले में मोहम्मज शमी ने कीवी कप्तान केन विलियमसन का एक आशान कैच छोड़ दिया था. इसके बाद उन्होंने वापसी की और एक ही ओवर में दो विकेट दिलाए. हालांकि मैच के बाद शमी ने कहा, "मैंने सेमीफाइनल मुकाबले में विपक्षी टीम के कप्तान केन विलियमसन का कैच छोड़ दिया, जिसके बाद मुझे बुरा लगा." शमी ने इस कैच को छोड़ने के बाद पूरा जिम्मा अपने सिर पर ले लिया और एक के बाद एक कुल 7 बल्लेबाजों को पवेलियन की राह दिखाई.
उन्होंने अपनी गेंदबाजी को लेकर कहा, "मैं अपनी बारी का इंतजार कर रहा था. मैं सफेद गेंद से ज्यादा क्रिकेट नहीं खेल रहा था. ये मेरे मन में था. हम यॉर्कर और धीमी गेंदों जैसी कई चीजों के बारे में बात करते हैं. मैंने गति बढ़ाने की कोशिश की. मैंने नई गेंद से विकेट लेने की कोशिश की. मैं नई गेंद से जितना संभव हो, उतना लेने की कोशिश करता हूं। वे अपने शॉट खेल रहे थे. तो, मैंने एक मौका लिया। विकेट अच्छा था. ओस का डर था. घास अच्छे से कटी हुई थी. रन काफी थे. अगर ओस आ जाती तो हालात ख़राब हो सकती थी."
2015 और 2019 वर्ल्ड कप को लेकर कही ये बात
मोहम्मद शमी ने 2015 और 2019 सेमीफाइनल में हार को लेकर कहा, "धीमी गेंदें काम नहीं कर सकती थी. मुझे अद्भुत महसूस हो रहा है. यह बहुत बड़ा मंच है. हम 2015 और 2019 वर्ल्ड कप के सेमीफाइनल में हार गए थे, जो मौका मुझे दिया गया है. उसे भुनाने की कोशिश कर रहा हूं. हम नहीं जानते कि हम सबको ऐसा मौका दोबारा कब मिलेगा." शमी ने साल 2019 वर्ल्ड कप में भी पंजा खोला था और काफी शानदार गेंदबाजी की थी.
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