डीएनए हिंदी: पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी (Mamata Banerjee) ने पेट्रोल और डीजल पर टैक्स में कटौती के बाद पश्चिम बंगाल के खजाने को 1141 करोड़ रुपये का नुकसान होने का दावा किया है. मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने सोमवार को केंद्र पर राज्यों को उनके बकाये का भुगतान करने में भाजपा शासित राज्यों को कथित रूप से पक्ष लेने के लिए निशाना साधा.
ममता बनर्जी का यह बयान ऐसे समय आया है जब दो दिन पहले केंद्र सरकार ने पेट्रोल (Petrol) पर उत्पाद शुल्क में 8 रुपये प्रति लीटर और डीजल पर 6 रुपये प्रति लीटर की कटौती की थी. केंद्र सरकार के इस कदम के बाद पेट्रोल एवं डीजल की कीमतों में कुछ हद तक कमी आई है. जब केंद्र सरकार उत्पाद शुल्क में कटौती करती है तो राज्यों को भी होने वाली कमाई का नुकसान होता है.
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बंगाल में पेट्रोल पर 25% वैट लगाती है सरकार
मुख्यमंत्री ममता ने कहा, ‘‘केंद्र सरकार के इस कदम से पश्चिम बंगाल में टैक्स में पेट्रोल पर 1.80 रुपये और डीजल पर 1.03 रुपये की स्वत: ही कटौती हो गई है. हम पेट्रोल-डीजल पर एक रुपये प्रति लीटर की दर से छूट दे रहे हैं. इस प्रकार पेट्रोल पर कुल छूट 2.80 रुपये और डीजल पर 2.03 रुपये हो जाती है.’’ उन्होंने कहा कि पश्चिम बंगाल सरकार डीजल पर 17 फीसदी और पेट्रोल पर 25 फीसदी वैट लगाती है.
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1141 करोड़ रुपये के राजस्व का नुकसान
उन्होंने कहा, “एक रुपये की छूट के कारण लगभग 500 करोड़ रुपये खर्च करने के बाद हमें कुल 1,141 करोड़ रुपये के राजस्व का नुकसान होने वाला है.” उन्होंने सवाल किया कि केंद्र सरकार ने ईंधन पर से उप कर क्यों नहीं घटाया. उल्लेखनीय है कि उप कर में राज्य की हिस्सेदारी नहीं होती है. ममता ने आरोप लगाया, ‘बीजेपी शासित राज्यों को केंद्र द्वारा दी गई रियायत विपक्षी दलों के शासित राज्यों को नहीं दी जाती है. हमें हमारा बकाया नहीं मिल रहा है. हमें जो मिलना है, केंद्र हमें उससे वंचित कर रहा है .’
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