Amazing News: मिलिए उस इंसान से, जिसने 1 दिन में की 3 शादियां, कुल 300 महिलाओं से किया था निकाह

Written By कुलदीप पंवार | Updated: Jan 16, 2024, 05:13 PM IST

Awadh Nawab Wajid Ali Shah Biography: अवध के नवाब वाजिद अली शाह को औरतों का रसिया कहा जाता था. दावा किया जाता है कि उन्होंने 378 शादी की थी. क्या है इस दावे की हकीकत?

डीएनए हिंदी: Lucknow News- अवध के नवाबों में इतिहास में सबसे ज्यादा चर्चा नवाब वाजिद अली शाह को मिली है, जिन्हें औरतों के रसिया के तौर पर दिखाया गया है. हालांकि वे बेहद पढ़े-लिखे शख्स थे, जिन्हें साहित्य जगत में भी बेहद सम्मान दिया जाता है. दावा किया जाता है कि वाजिद अली शाह ने 300 से ज्यादा महिलाओं से निकाह किए थे. साथ ही ये भी दावा किया जाता है कि उन्होंने एक ही दिन में तीन अलग-अलग औरतों से शादियां रचाई थीं. क्या है इस दावे की हकीकत? चलिए हम आपको बताते हैं. 

पहले जान लेते हैं नवाब वाजिद अली शाह के बारे में

अवध के नवाब वाजिद अली शाह का जन्म लखनऊ में 30 जुलाई, 1822 में हुआ था. लखनऊ रियासत के अय्याशी भरे माहौल का उन पर बखूबी असर था. हालांकि नवाब वाजिद अली शाह की तालीम को लेकर खासा जोर दिया गया और वे अपने समय के सबसे ज्यादा पढ़े-लिखे नवाब माने जाते हैं. वाजिद अली शाह ने 100 से ज्यादा किताबें लिखी थीं, जिन्हें आला दर्जे का साहित्य माना जाता है. उनका निधन 21 सितंबर, 1887 को कोलकाता में हुआ था.

कितनी सच है 300 से ज्यादा बेगम की बात

मशहूर इतिहासकार डॉ. रवि भट्ट के हवाले से न्यूज18 ने अपनी रिपोर्ट में इस बात का जिक्र किया है. डॉ. भट्ट के मुताबिक, अवध का नवाब रहने तक वाजिद अली शाह की अय्याशियां एक सीमित दायरे में थीं. इस कारण कुछ किताबों में उनकी 37 बेगम होने की जानकारी दी गई है. वाजिद अली शाह ने खुद अपनी किताब में 49 बेगम बताई हैं. माना जाता है कि जब अंग्रेजों ने उनसे अवध का शासन छीन लिया, तब वे पूरी तरह अय्याशियों में डूब गए. 

कोलकाता जाने के बाद मुताह के जरिये जोड़े नाते

डॉ. भट्ट के मुताबिक, अवध का शासन छिनने पर वाजिद अली शाह कोलकाता जाकर मटियाबुर्ज में रहने लगे. वहां उनके पूरी तरह अय्याश जिंदगी बिताने का जिक्र मिलता है. कोलकाता जाने के समय वाजिद अलगी शाह की 70 बेगम थीं, लेकिन वहां वे मुताह के जरिये नई-नई औरतों से नाता जोड़ने लगे और उन्हें अपनी बेगम का दर्जा देने लगे. माना जाता है कि इसी दौर में उनकी बेगमों की संख्या 300 से ज्यादा हो गई थी. 

मुताह एक तरीके की इस्लामी एग्रीमेंट मैरिज होती है, जो महज मौज-मस्ती के लिए की जाती है. ऐसा निकाह एक दिन, एक सप्ताह या एक-दो महीने का होता है. इतिहासकार डॉ. रवि भट्ट के मुताबिक, नवाब वाजिद अली शाह ने महज बेगम अख्तर महल और बेगम खास महल से ही असल में निकाह किया था, बाकी सभी औरतों से उनका 'मुताह' का रिश्ता था. उनके बारे में जितनी जानकारी उपलब्ध है, उस लिहाज से कहा जा सकता है कि उनकी मुताह के जरिये कुल 378 बेगम रही थीं, जिनमें से 27 को उन्होंने 1 ही दिन में तलाक दे दिया था.

कहां मिलता है एक दिन में तीन शादी करने का जिक्र

डॉ. भट्ट के मुताबिक, नवाब वाजिद अली शाह के एक दिन में तीन निकाह करने का जिक्र 'द लास्ट किंग ऑफ इंडिया' किताब में है. लंदन से पब्लिश इस किताब के हिसाब से नवाब वाजिद अली शाह ने 16 नवंबर 1859 को एक दिन में तीन निकाह किए थे. यह जानकारी अंग्रेजों के उस रजिस्टर से मिली है, जिस पर नवाब को अपनी सभी बेगम की जानकारी दर्ज करनी होती थी. इस रजिस्टर में ही एक दिन में तीन शादी करने का ब्योरा दर्ज है. 

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