सैम पित्रोदा भारत के एक टेलिकम्युनिकेशन इंजीनियर और कारोबारी हैं , जिनका जन्म ओडिशा के टिटलागढ़ में एक गुजराती परिवार के यहां हुआ.
उनके सात भाई-बहन हैं और वह अपने माता-पिता की तीसरी संतान हैं. उनका परिवार महात्मा गांधी और उनकी विचारधारा से प्रेरित रहा है.
उन्होंने अपनी स्कूलिंग गुजरात के वल्लभ विद्यानगर से की है.
उन्होंने वड़ोदरा के महाराजा सयाजीराव यूनिवर्सिटी से फिजिक्स में एमएससी की है.
बाद में उन्होंने अमेरिका के शिकागो में इलिनोइस इंस्टीट्यूट ऑफ टेक्नोलॉजी से इलेक्ट्रिकल इंजीनियरिंग में मास्टर्स की डिग्री हासिल की. उन्होंने PCM टेलीमेट्री सिस्टम्स में एक शॉर्ट कोर्स भी किया है.
उन्होंने भारत में कंप्यूटर क्रांति लाने में तत्कालीन पीएम राजीव गांधी की मदद की थी क्योंकि उस समय वह उनके सलाहकार थे. वह मनमोहन सरकार के कार्यकाल के दौरान भी प्रधानमंत्री के सलाहकार थे.
उन्होंने करीब एक दशक तक पूर्व पीएम राजीव गांधी के साथ बिताया. इस दौरान उन्होंने डिजिटल टेलिकम्युनिकेशन को देश के कोने-कोने तक पहुंचाया.
पित्रोदा ने सेंटर फॉर द डेवलपमेंट ऑफ टेलीमैटिक्स लॉन्च किया और पानी, साक्षरता, ऑयल सीड्स, टेलिकॉम, डेयरी, इम्युनाइजेशन जैसे टेक्नॉलजी मिशन पर प्रधानमंत्री को सलाह दी.
साल 1974 में पित्रोदा ने वेसकॉम स्विचिंग को जॉइन किया, जो पहली डिजिटल स्विचिंग कंपनियों में से एक थी.