Dec 11, 2023, 02:13 PM IST

साल 2023 में छपीं ये 10 किताबें रचनाकार गीताश्री को लगीं अच्छी

Anurag Anveshi

गीताश्री ने राजकमल से छपे उपन्यास 'अर्कदीप्त' को अपनी पहली पसंद बताया. इस उपन्यास की लेखक हैं उषा प्रियंवदा.

गीताश्री की दूसरी पसंद है उपन्यास 'रुदादे सफर'. पंकज सुबीर का यह उपन्यास शिवना प्रकाशन से आया है.

महेश कटारे के उपन्यास 'भवभूति कथा' का प्रकाशन राजकमल ने किया है. गीताश्री ने इसे भी अपनी पसंद में शामिल किया.

गीताश्री के पसंदीदा उपन्यासों में जयंती रंगनाथन का 'मैमराजी' भी है. यह उपन्यास इसी साल हिंद युग्म ने छापा है.

संजीव पालीवाल का उपन्यास 'ये इश्क़ नहीं आसां' भी गीताश्री को पसंद आया.  इस उपन्यास का प्रकाशन वेस्ट लैंड ने किया है.

इस साल जो कविता संग्रह गीताश्री को रुचे उसमें शैलजा पाठक का 'पूरब की बेटियाँ' है. इसे भी राजकमल ने छापा है.

कहानी संग्रहों में रीतामणि वैश्य का संग्रह 'मृगतृष्णा' गीताश्री को पसंद आया है. इसे वाणी प्रकाशन ने छापा है.

संस्मरणों के संग्रह में गीताश्री ने बताया कि मृदुला गर्ग का 'वे नायाब औरतें' पसंद आया है, इसका प्रकाशन वाणी से हुआ है.

गीताश्री को आशोक कुमार पांडेय का लिखा 'राहुल सांस्कृत्यायन का : अनाम बेचैनी का यायावर' अच्छा लगा. इसे राजकमल ने छापा है. 

गीताश्री ने कहा कि जीवनियों में सुजाता की लिखी 'विकल विद्रोहिणी : पंडिता रमाबाई' भी अच्छी है. इसे भी राजकमल ने छापा है.