Mar 24, 2024, 12:59 PM IST
गंगा के एक नहीं 2 पुत्र थे, भीष्म के अलावा ये योद्धा भी था गंगा पुत्र
Smita Mugdha
महाभारत की कथा के मुताबिक, गंगा ने अपने 7 पुत्रों को नदी में बहाया था और उनके एकमात्र पुत्र भीष्म पितामह ही जीवित रहे.
क्या आप जानते हैं कि भीष्म पितामह ही गंगा के अकेले जीवित पुत्र नहीं थे, बल्कि गंगा का एक और पुत्र भी जीवित बचा था.
गंगा किनारे हस्तिनापुर के सारथी अधिरथ को कुंती और सूर्य पुत्र कर्ण मिला था जिसे उन्होंने अपनी संतान की तरह पालन-पोषण किया था.
गंगा नदी को कर्ण अपनी जीवनदायिनी मां मानते थे और पुत्र की तरह हमेशा उन्होंने गंगा को मां के समान दर्जा दिया था.
कर्ण ने हमेशा गंगा को मां और देवी की तरह माना और वह नियमित उनकी भक्ति भी करते थे
ऐसी मान्यता है कि गंगा के आशीर्वाद से ही कर्ण के अंदर असाधारण तैराक वाली क्षमता थी.
कर्ण गंगा को अपनी जीवनदायिनी मां मानते थे और उनका विश्वास था कि नदी में प्रवाहित किए जाने पर देवी गंगा ने उनकी रक्षा की.
इस तरीके से गंगा के एक नहीं बल्कि दो पुत्रों ने महाभारत के युद्ध में हिस्सा लिया था. एक भीष्म पितामह और दूसरे गंगा को मां मानने वाले कर्ण.
कर्ण की युद्ध क्षमता और बौद्धिक कौशल को देखकर भीष्म पितामह उनसे भी अर्जुन और बाकी पांडव भाइयों जैसा ही स्नेह करते थे.
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