Jul 20, 2024, 06:11 PM IST
प्रेमानंद जी महाराज को भला कौन नहीं जनता, उन्होंने अपने विचार और प्रवचन द्वारा कई लोगों को प्रभावित किया है.
प्रेमानंद जी महाराज अपने एक सत्संग में बताया कि अपने अंदर के डर को कैसे खत्म करें. आइए जानते हैं इसके बारे में...
प्रेमानंद जी महाराज कहते हैं कि अपना किया हुआ पाप और कर्म हमें भयभीत करता रहता है. इसके अलावा कुछ नहीं..
यही जब निष्पाप हो जाता है तो व्यक्ति निर्भय हो जाता है. इसलिए हम कहते हैं कि बाहर के शत्रु को हम अस्त्र-शस्त्र से पराजित कर सकते हैं.
वहीं आंतरिक शत्रु को परास्त करने के लिए अध्यात्म है. अगर किसी को अध्यात्म का विवेक प्राप्त नहीं तो आंतरिक शत्रु मार कर गिरा देगा.
इसलिए मन को शांत रखने, अपने डर, क्रोध खत्म करने के लिए नाम जप करें और अध्यात्म से जुड़ें. आंतरिक शांति से आप बाहरी परिस्थियों को संभाल लेंगे.
इसके अलावा बिना स्वार्थ के दूसरों का हित करें, इससे आपका मन प्रसन्न भी रहेगा और इससे धीरे-धीरे आपके मन का डर भी खत्म होगा.