Mar 10, 2024, 09:28 AM IST

मुगलों को छठी का दूध याद दिलाने वाला मुसलमान सिपाही कौन था?

Abhishek Shukla

मुगल बादशाह जहांगीर बेहद ताकतवर था और वह हिंसक तरीके से अपने साम्राज्य का विस्तार कर रहा था.

उसकी नजर पूर्वोत्तर में अहोम के किले पर थी, जिसे वह फतह करना चाहता था. 

1615 में मुगलों की ओर से बंगाल के गवर्नर मीर जुमला लड़ रहा था और लड़ाई असम के लाचित बोरफुकन से हो रही थी.

इस जंग के सबसे बहादुर सिपाही थे इस्लाइल सिद्दीकी, जिन्हें देश बाघ हजारिका भी कहते हैं.

वह मुस्लिम थे लेकिन मुगलों को छठी का दूध याद दिला दिया था.

उन्होंने मुगलों के तोपों को तबाह कर दिया था. युद्ध के बीच ही उन्होंने तोपों में पानी भर दिया. 

मुगलों की तोपें तबाह हो गईं. वे दगी ही नहीं. मुगलों को इस युद्ध में करारी हार मिली. 

बिना तोपों के मुगल सेना बेदम हो गई और अपना किला तक नहीं बचा पाई.

लाचित बोरफुकन की सेना ने गुवाहाटी अपना परचम लहरा लिया और बाघ हजारिका हमेशा के लिए भारतीय इतिहास में अमर हो गए.