डीएनए हिंदी: कनाडा में पिछले कुछ वक्त में ड्रग्स माफियाओं के बीच गैंगवार की कई घटनाएं हो चुकी है. ऐसी ही एक घटना में एडमॉन्टन में गैंगस्टर हरप्रीत सिंह उप्पल और उसके बेटे की गोली मारकर हत्या कर दी गई थी. भारतीय मूल के उप्पल और उसके 11 साल के बेटे की हत्या करने वाले संदिग्धाों का एक वीडियो कनाडा पुलिस की ओर से जारी किया गया है. पुलिस का कहना है कि उप्पल ब्रदर्स कीपर्स गैंग का सदस्य था और वह दुनिया में ड्रग्स के हाई प्रोफाइल धंधे से जुड़ा काम करता था. पुलिस ने हत्या की निंदा करते हुए कहा कि इस गैंगवार में उसके 11 साल के बेटे को भी निशाना बनाया गया और यह विकृत मानसिकता है. पिछली बुधवार को ही यूनाइटेड नेशंस ग्रुप के गैंगस्टर परमवीर चहिल की टोरंटो में गोली मारकर हत्या कर दी गई थी.
वैंकूवर सन के अनुसार, कनाडा में इस वक्त ड्रग्स के कारोबार को लेकर 3 गैंग के बीच रस्साकशी चल रही है. पिछले कुछ वक्त में देश के कई शहरों में गैंगवार की घटनाएं हुई हैं. कनाडाई मीडिया में इन गैंगवार को लेकर जस्टिन ट्रूडो सरकार की काफी आलोचना हो रही है. कनाडा पुलिस ने गैंगवार की घटना की निंदा करते हुए कुछ सीसीटीवी फुटेज जारी की है और दावा किया है कि जल्द ही अपराधियों को पकड़ लिया जाएगा. पुलिस ने अपने बयान में यह भी कहा कि कनाडा में इस तरह की घटनाओं की कोई जगह नहीं है.
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निज्जर की हत्या के बाद से गैंगवार बढ़ने की आशंका
कनाडा में कई ड्रग्स रैकेट सक्रिय हैं जो पूरी दुनिया में नशे के कारोबार का काम गैर-कानूनी तरीके से कर रहे हैं. इनके बीच अक्सर ही खूनी झड़प हो रही है लेकिन देश की मीडिया के मुताबिक, खालिस्तानी आतंकवादी हरदीप सिंह निज्जर की हत्या के बाद से गैंगवार की घटनाओं में इजाफा हुआ है. बता दें कि निज्जर की हत्या सरे में हुई थी जिसके बाद कनाडाई पीएम जस्टिन ट्रूडो ने संसद में बयान दिया था कि इसमें भारतीय जांच एजेंसियों का हाथ हो सकता है.
गैंगवार की घटनाओं की वजह से घिरे जस्टिन ट्रूडो
कनाडा में खालिस्तानी गतिविधियों की वजह से पहले से ही जस्टिन ट्रूडो की वैश्विक स्तर पर आलोचना हो रही है. दूसरी ओर देश के अंदर खूनी संघर्श, हिंसक हमलों और गैंगवार की वजह से जस्टिन ट्रूडो विपक्षी दल के निशाने पर हैं. कनाडा में पिछले कुछ सालों में खालिस्तानी अलगाववादियों की गतिविधि काफी बढ़ी है और भारत के कई खालिस्तानी समर्थक और अलगाववादी खुले आम कनाडा में रहते हुए अलगाववादी गतिविधियों को अंजाम दे रहे हैं. इस वजह से भारत और कनाडा के बीच राजनयिक संबंधों में भी काफी तनाव आ गया था.
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