CCPI Index: Climate Change में G20 में भारत का प्रदर्शन सबसे अच्छा, इन अमीर देशों का प्रयास बहुत खराब  

Written By अभिषेक सांख्यायन | Updated: Nov 16, 2022, 03:53 PM IST

PM Modi with G20 leaders 

CCPI (Climate Change Performing Index) दुनिया भर के 59 देशों को पर्यावरण सुधार के लिए उठाए गए कदमों के आधार पर रैंक करता है.

डीएनए हिंदी: इंडोनेशिया के बाली में जारी G20 समिट में दुनिया में इकोनोमिक रिकवरी के साथ साथ पर्यावरण बदलाव (Climate Change) पर भी गंभीर चर्चा हुई. इसी बीच CCPI (Climate Change Performing Index) जारी हुआ है जिसमें भारत को 63 देशों में 8वां स्थान मिला है. वही बाकी पर्यावरण की दुहाई देने वाले कई अमीर देशों का प्रदर्शन बहुत खराब रहा है.

क्या है CCPI (Climate Change Performing Index)? 

CCPI (Climate Change Performing Index) दुनिया भर के 59 देशों को पर्यावरण सुधार के लिए उठाए गए कदमों के आधार पर रैंक करता है. इंडेक्स में शामिल देश दुनिया भर में पैदा होने वाली 90 %ग्रीनहाउस गैसों के लिए जिम्मेदार हैं. इंडेक्स पेरिस एग्रीमेंट के लक्ष्य को आंकने के लिए अलग अलग देशों को 4 पैमानों पर रैंकिग देता है. ये पैमाने हैं -  ग्रीनहाउस गैस उत्सर्जन (Green House Gas Emission) , नवीनीकृत उर्जा (Renewable Energy), उर्जा प्रयोग (Energy Use) और पर्यावरण नीति (Climate Policy).  

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CCPI इंडेक्स के पहले तीन स्थान खाली  

CCPI इंडेक्स के पहले तीन स्थान पर किसी देश को जगह नहीं मिली है. दरअसल इस बार कोई भी देश CCPI इंडेक्स में 80 से ऊपर स्कोर नहीं पा सका है. रिपोर्ट के अनुसार किसी भी देश का किसी भी मानक पर ऐसा प्रदर्शन नहीं था जिसे टॉप 3 में शामिल किया जा सके.  

पिछले साल की तरह इस साल एक बार फिर डेनमार्क ने बाकी देशों के मुकाबले सबसे अच्छा काम किया है लेकिन फिर वो पहले तीन स्थानों में अपनी जगह नहीं बना पाया. 

भारत के CCPI स्कोर में सुधार 

पिछले साल के मुकाबले भारत के CCPI स्कोर और रैंकिंग में इजाफा हुआ है. इस बार भारत को 8वीं रैंक मिली है जबकि पिछले साल 10वीं रैंक थी. रिपोर्ट के अनुसार भारत अच्छा प्रदर्शन करने वाले देशों में शामिल हैं. भारत का सबसे अच्छा प्रदर्शन ग्रीन हाउस गैस उत्सर्जन, उर्जा इस्तेमाल के वर्ग में रहा है. वहीं पर्यावरण नीति और नवीनीकृत उर्जा के क्षेत्र में मध्यम प्रदर्शन रहा है.  

रिपोर्ट के अनुसार भारत 2030 के अपने ग्रीन हाउस गैसों के उत्सर्जन लक्ष्यों को तो पूरा करने की राह पर है.  हालांकि नवीनीकृत उर्जा के मामले में आशंका जताई गई है कि भारत इस क्षेत्र में अपने लक्ष्यों को पूरा नहीं कर पाएगा.  

भारत दुनिया के उन 9 देशों में शामिल है जहां कोयले का 90 % उत्पादन होता है. भारत ने कच्चा तेल और गैस के उत्पादन को 5 % बढ़ाने का लक्ष्य रखा है. 

कैसी है G20 देशों की परफॉर्मेंस 

G20 देशों में भारत का नम्बर 8वां, यूके का 11वां और जर्मनी का 16वां स्थान है. 12 G20 देशों का प्रदर्शन खराब या अत्यंत खराब रहा है. G 20 देश दुनिया में 75 %से ज्यादा ग्रीन हाउस गैसें पैदा करने के लिए जिम्मेदार हैं. CCPI इंडेक्स में कनाडा, रुस, दक्षिण कोरिया और सउदी अरब G20 के सबसे खराब प्रदर्शन करने वाले देश हैं.  

यूरोपियन यूनियन पिछले साल के मुकाबले 3 स्थान बेहतर हुआ है. EU के 9 देश अच्छा और मध्यम प्रदर्शन रहा है. सबसे अच्छा प्रदर्शन करने वाले डेनमार्क (4था) और स्वीडन (5वां) स्थान हासिल हुआ है.  

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इन अमीर देशों का प्रदर्शन बहुत खराब 

CCPI 2023 में सबसे खराब प्रदर्शन करने वाले देशों में कई अमीर देश शामिल हैं. इन देशों में जापान (50),चीन(51), यूएस(52), हंगरी(53), पोलेंड(54),आस्ट्रेलिया(55), मलेशिया (56), चाईनेज ताईपे (57), कनाडा (58), रुस(59), कोरिया (60), कजाकिस्तान (61) और सउदी अरब (62) शामिल हैं.