डीएनए हिंदी: संयुक्त राष्ट्र मानवाधिकार परिषद (UNHCR) में इस्लामी देशों के समूह OIC का नाम लेकर जम्मू-कश्मीर का मुद्दा उठा रहे पाकिस्तान को भारत ने जमकर खरीखोटी सुनाई है. पाकिस्तान ने भारत पर कश्मीर में मानवाधिकार हनन का आरोप लगाते हुए UN से उसे रोकने की मांग की. इस पर भारत ने कहा कि राजनीतिक आवाजों को दबाने के लिए अपहरण से लेकर कैद में डालने तक के काम पाकिस्तानी नीति का हिस्सा है और उसे इससे बाज आना चाहिए. भारत ने कहा, हमें खेद है कि OIC (Organisation of Islamic Cooperation) पाकिस्तान को उनके प्लेटफार्म का गलत इस्तेमाल करने से रोकने में असफल हो रहा है.
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OIC प्लेटफार्म से पाकिस्तान फैला रहा भारत विरोधी प्रोपेगेंडा
जिनेवा (Geneva) में 47 सदस्यीय UNHCR की आम बहस के दौरान बुधवार को भारत के स्थायी प्रतिनिधि पवन बाढे (Pawan Badhe) ने पाकिस्तान की जमकर खिंचाई की. उन्होंने Right to reply का इस्तेमाल करते हुए कहा, इस्लामी सहयोग संगठन (OIC) की तरफ से कश्मीर को लेकर दिया गया संदर्भ गैरवाजिब और तथ्यात्मक रूप से गलत है. हम इसे खारिज करते हैं.
उन्होंने कहा, मानवाधिकार रक्षकों, राजनीतिक कार्यकर्ताओं, छात्रों और पत्रकारों को निशाना बनाने के लिए पाकिस्तान लगातार मानवाधिकार हनन करता है. अपने खिलाफ उठ रही आवाज को दबाने के लिए गैरकानूनी अपहरण, जबरन गायब कर देना, मनमाने ढंग से हिरासत में लेना और यातनाएं देना, इन सभी तरीकों का इस्तेमाल स्टेट पॉलिसी के टूल की तरह करना पाकिस्तान की नीति रही है.
पाकिस्तान का नरसंहारों को अंजाम देने का शर्मनाक इतिहास है. 50 साल पहले के पूर्वी पाकिस्तान, जो अब बांग्लादेश है, इसका उदाहरण है. इस बारे में सब जानते हैं. अपने यहां अल्पसंख्यकों के धार्मिक विश्वासों और स्वतंत्रता सुनिश्चित करने में पाकिस्तान का रिकॉर्ड दुनिया में सबसे ज्यादा खराब है.
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क्या मुद्दा उठाया गया था पाकिस्तान की तरफ से
पिछले महीने 5 अगस्त को जम्मू-कश्मीर को दो केंद्र शासित प्रदेशों में बांटने को तीन साल पूरे हो गए. इस दिन OIC ने आरोप लगाया था कि भारत ने मनमाने तरीके से अवैध कदम उठाकर जम्मू-कश्मीर का दर्जा बदल दिया. साथ ही OIC ने कश्मीर में जनसांख्यिकीय बदलाव करने की कोशिश का आरोप भी भारत पर लगाया था.
पवन ने इसे तथ्यात्मक रूप से गलत बताते हुए कहा, हमें बेहद दुख है कि OIC देशों के साथ हमारे करीबी संबंध हैं, इसके बावजूद वे पाकिस्तान को भारत विरोधी प्रोपेगेंडा आगे बढ़ाने के लिए OIC प्लेटफार्म का इस्तेमाल करने से नहीं रोक पा रहे हैं.
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पाकिस्तान के स्थायी प्रतिनिधि खलील हाशमी (Khalil Hashmi) ने मंगलवार को यही मुद्दा OIC प्रतिनिधि के तौर पर यूएन मानवाधिकार परिषद में उठाया. हाशमी ने यूएनएचसीआर से भारत को कश्मीर में मानवाधिकार हनन रोकने का आदेश देने की मांग की थी.
क्या है इस्लामी सहयोग संगठन
इस्लामी सहयोग संगठन 57 मुस्लिम देशों का समूह है, जिसका मुख्यालय सऊदी अरब के जेद्दा में है. 1969 में बने इस संगठन में पाकिस्तान भी एक अहम सदस्य है. इस संगठन में सऊदी अरब और यूएई का दबदबा है. इसे संयुक्त राष्ट्र के बाद दुनिया का सबसे बड़ा समूह माना जाता है, जिसकी संयुक्त आबादी करीब 1.6 अरब है.
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दुनिया की सबसे बड़ी मुस्लिम आबादी होने के बावजूद भारत को पाकिस्तान के विरोध के कारण इस संगठन का सदस्य नहीं बनाया गया है. हालांकि पाकिस्तानी विरोध के बावजूद UAE और Saudi Arab भारतीय प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (Narendra Modi) को OIC की बैठक में शामिल होने के लिए बुला चुके हैं.
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