ईरान-पाकिस्तान में छिड़ी जंग, इस्लामाबाद में हाई अलर्ट, क्या है कह रही है दुनिया?

Written By अभिषेक शुक्ल | Updated: Jan 19, 2024, 11:50 AM IST

पाकिस्तानी सेना. (फाइल फोटो)

पाकिस्तानी विदेश मंत्रालय ने कहा कि पाकिस्तान ने अलगाववादी बलूच आतंकवादियों को निशाना बनाते हुए ईरान पर हमला किया है.

डीएनए हिंदी: पाकिस्तान और ईरान के बीच जंग जैसे हालात पैदा हो गए हैं. पुराने दोस्त, दुश्मन बनते नजर आ रहे हैं. गुरुवार को पाकिस्तान ने ईरान पर काऊंटर अटैक किया, जिसके बाद इस्लामाबाद में हाई अलर्ट है. पाकिस्तान ने कहा है कि उसकी कार्रवाई अलगाववादी बलूच आतंकियों के खिलाफ थी. ईरान ने पाकिस्तान के एक इलाके में एक आतंकी संगठन पर धावा बोला था, जिसके दो दिन पाकिस्तान ने काउंटर अटैक किया है. 

न्यूज एजेंसी रॉयटर्स की एक रिपोर्ट के मुताबिक पड़ोसियों के बीच तनाव लगातार बढ़ रहा है. पाकिस्तानी मीडिया रिपोर्ट्स में दावा किया जा रहा है कि ईरान के हर हमले का पाकिस्तान मुहंतोड़ जवाब देगा. ईरान की कार्रवाई को पाकिस्तान ने दुस्साहसपूर्ण हमला बताया है. 

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पाकिस्तानी विदेश मंत्रालय ने कहा कि पाकिस्तान ने अलगाववादी बलूच आतंकवादियों को निशाना बनाते हुए ईरान के अंदर हमले किए हैं. ईरान की आधिकारिक IRNA समाचार एजेंसी ने बताया कि अशांत सिस्तान-बलूचिस्तान प्रांत में हुए हमलों में कम से कम नौ लोग मारे गए, जिनमें से ज्यादातर महिलाएं या बच्चे थे.

संयुक्त राष्ट्र ने की संयम बरतने की अपील
ईरान और पाकिस्तान द्वारा एक-दूसरे के क्षेत्र में आतंकवादी ठिकानों पर घातक हवाई हमले करने के बाद संयुक्त राष्ट्र और संयुक्त राज्य अमेरिका ने संयम बरतने की अपील की है. संयुक्त राष्ट्र प्रमुख एंटोनियो गुटेरेस ने दोनों सरकारों से अधिकतम संयम बरतने की अपील की है.

पाकिस्तान के इस्लामाबाद में हाई अलर्ट
पाकिस्तान की राजधानी इस्लामाबाद में हाई अलर्ट है. पाकिस्तान के लोगों को डर सता रहा है कि ईरान की तरफ से फिर कहीं न एयर स्ट्राइक हो जाए. भारी हथियारों से लैस पड़ोसियों के बीच सैन्य कार्रवाई ने इजरायल-हमास युद्ध से पैदा हुए तनाव को और बढ़ा दिया है. पाकिस्तान की यह जवाबी कार्रवाई 8 फरवरी को होने वाले आम चुनाव से कुछ दिन पहले आई है.

लोगों को सता रहा सैन्य शासन का डर
अटलांटिक काउंसिल के दक्षिण एशिया केंद्र के संस्थापक निदेशक शुजा नवाज ने कहा कि पाकिस्तान में चुनाव कराने के लिए एकजुट हुई एक कमजोर कार्यवाहक सरकार इन जटिल मुद्दों से निपटने में सक्षम नहीं है. सेना सत्ता में आ सकती है. पाकिस्तान में एक बार फिर सैन्य शासन हो सकता है.

क्या है दोनों देशों के बीच तनाव की असली वजह?
ईरान और पाकिस्तान अक्सर एक-दूसरे पर आतंकवादियों को पनाह देने का आरोप लगाते हैं. ईरान कहना है कि पाकिस्तान आतंकियों को पाल रहा है, पाकिस्तान ईरान पर ऐसे ही आरोप लगाता है. अभी तक सेना इस विवाद में शामिल नहीं हुई थी लेकिन अब बात जमीनी लड़ाई की आ गई है.

क्या है वैश्विक संगठनों की अपील?
संयुक्त राष्ट्र संघ की ओर से पहले ही दोनों देशों से संयम बरतने की अपील की गई है. व्हाइट हाउस के राष्ट्रीय सुरक्षा परिषद के प्रवक्ता जॉन किर्बी ने कहा कि संयुक्त राज्य अमेरिका स्थिति पर बहुत, बहुत बारीकी से नजर रख रहा है और पाकिस्तानी अधिकारियों के संपर्क में है.

मध्यस्थ बनने के लिए राजी है चीन
भारत ने आधिकारिक प्रतिक्रिया जारी करते हुए कहा कि यह ईरान और पाकिस्तान के बीच का मामला है. विदेश मंत्रालय ने कहा कि भारत का आतंकवाद के प्रति शून्य सहिष्णुता का रुख है. वह आतंक के खिलाफ लिए गए एक्शन को सही मानता है. चीन ने ईरान और पाकिस्तान के बीच मध्यस्थता की पेशकश की है.

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