डीएनए हिंदी: जब से रूस ने यूक्रेन पर हमला किया है तब से इंटरनेट पर कई तस्वीरें और वीडियो वायरल हो रही हैं. इनमें आप देख सकते हैं कि रूस के टैंकरों पर Z जैसा एक अक्षर लिखा हुआ है. डिफेंस अधिकारियों ने अभी तक सार्वजनिक और आधिकारिक तौर पर इस तरह की मार्किंग का मतलब नहीं बताया है लेकिन यह यूं ही नहीं होता. अगर गौर किया जाए तो इसका एक खास मतलब होता है. ऐसा इसलिए क्योंकि Z अक्षर Russian alphabet में नहीं है. यह सीरिलिक लेटर I हो सकता है.
क्यों की जाती है सैन्य उपकरण पर ऐसी मार्किंग
डिफेंस एक्सपर्ट का मानना है कि हो सकता है रूस ने अपने ट्रूप को यूक्रेन के ट्रूप से अलग दिखाने के लिए ऐसा किया हो. दरअसल दोनों ही देशों को सैन्य उपकरण काफी मिलते-जुलते हैं. इसलिए अपने टैंकर्स और दूसरे इक्विपमेंट को यूक्रेन क सेना से अलग दिखाने के लिए ऐसा किया होगा. रूस का T-72 main battle tank यूक्रेन के T-80 जैसा दिखता है अब ऐसी स्थिति में किसी तरह की कनफ्यूजन को टालने के लिए सेनाएं ऐसा करती हैं. इंटरनेट पर वायरल हो रही तस्वीरों में आप देखेंगे कि रूस के कुछ उपकरणों पर Z कहीं सर्कल में है, कहीं ट्राएंगल में और कहीं रेक्टैंगल में दिख रहा है.
एक्सपर्ट्स के मुताबिक सेना कई बार अपने उपकरणों को दुश्मन सेना से अलग दिखाने के लिए इस तरह की मार्किंग का इस्तेमाल करती है. साल 1944 में अमेरिकी सेना ने नॉरमैंडी पर हमले के दौरान अपने हवाई जहाजों पर काले और सफेद रंग की पट्टियां बना दी थीं ताकि उनके दूसरे साथी जहाज अपने जहाजों पर ही हमला न कर दें.
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