Aug 2, 2023, 12:22 PM IST

Eye Flu के होते हैं तीन कारण, जान लीजिए कैसे बचें

Kuldeep Panwar

आंख में लाली आने के साथ ही तकलीफ शुरू हो जाने की बीमारी को आई फ्लू कहते हैं.

आई फ्लू यानी बैक्टीरियल कंजंक्टिवाइटिस का खतरा सबसे ज्यादा बारिश के सीजन में होता है.

मानसून सीजन में संक्रमण के तेजी से फैलने पर आई फ्लू आसानी से एक इंसान से दूसरे में ट्रांसफर होता है.

इस बीमारी में आंख लाल होने के बाद उसमें खुजली, चुभन, पानी बहना और कई बार सूजन तक हो सकती है.

आई फ्लू खास बैक्टीरिया के संक्रमण के कारण फैलता है, जिसके संपर्क में आप तीन तरीके से आ सकते हैं.

पहला आपके पसीने के आंख में जाने पर या खराब मौसम के बाद हुई बारिश में नहाने से आपको आई फ्लू होता है.

दूसरा आप किसी आई फ्लू पीड़ित या उसके संपर्क में आए व्यक्ति से हाथ मिलाते हैं तो संक्रमण ट्रांसफर हो सकता है.

तीसरा आई फ्लू पीड़ित का यूज किया तौलिया या कोई अन्य कपड़ा छूने पर संक्रमण आप तक पहुंच सकता है.

आई फ्लू से बचाव का सामान्य तरीका वही है, जो आप कोरोना वायरस से बचने के लिए अपनाते थे.

भीड़ वाली जगह पर न जाएं, हाथ से आंखों को ना छुएं, हाथों को बार-बार साबुन से धोएं, संक्रमित से दूर रहें.

फिर भी आई फ्लू हो जाए तो सबसे अच्छा है कि आप आंखों को बार-बार ठंडे पानी से धोएं या गीली रूई से पोंछ लें.

आंखों को छूने से बचने के लिए चश्मा पहनकर रखें और हाथ किसी से मिलाने से बचें ताकि वह पीड़ित ना हो.

सभी व्यक्तिगत सामान को सैनिटाइजर से साफ करते रहें. तौलिया-रूमाल आदि को भी दूसरों से अलग रखें.

डॉक्टर से संपर्क करें और उनका बताया हुआ आई-ड्रॉप इस्तेमाल करें. खुद कोई दवाई आंख में ना डालें.