क्या आपको पता है कि अगर यूरिक एसिड को कंट्रोल न किया जाए तो ये सिस्ट में बदल जाता है.
सिस्ट यानी एक सेल्स की बंद थैली जो शरीर के किसी भी अंग, जोड़ों या हड्डियों में तरल, पत्थर, या मवाद के रूप में जमने लगे.
कभी-कभी कैंसर सिस्ट का कारण बन सकता है. यूरिक एसिड में ये जोड़ों और किडनी में बन सकती है,
यूरिक एसिड जब अनकंट्रोल होती है है तो स्किन और जोड़ों के नीचे टोफी नामक गांठ बन जाती है.
जोड़ों, उंगलियों और ऊपरी कान पर. टोफी को विकसित होने में लगभग 10 साल लग सकते हैं, लेकिन कभी-कभी यह पहले भी बन सकता है.
इससे शारीरिक विकृति, जोड़ या ऊतक क्षति, गति की सीमा में कमी या जोड़ का उपयोग करने की क्षमता में कमी, विकलांगता और तंत्रिका दर्द होने लगता है.
लेकिन अब यूरिक एसिड सिस्ट में बदल सकता है ये जानना जरूरी है.
महिलाओं में 2.5 से 6 mg/dL और पुरुषों में 3.5 से 7 mg/dL सामान्य माना जाता है.
लेकिन अगर लंबे समय तक रक्त में यूरिक एसिड का स्तर 9-10mg/dL तक पहुंच जाए, तो यह जोड़ों में क्रिस्टल के रूप में जमा हो जाता है,
जिससे हड्डियां नाजुक हो जाती हैं और जोड़ों में दर्द और सूजन हो जाती है. अगर लंबे समय तक यूरिक एसिड को नियंत्रित न किया जाए तो यह सिस्ट में बदल जाता है.