Sep 25, 2023, 10:46 PM IST

चांद पर मजे में सो रहे विक्रम लैंडर और प्रज्ञान रोवर जानें कैसे  ISRO की कर रहे हैं मदद

DNA WEB DESK

इसरो चीफ एस. सोमनाथ ने कहा है कि चांद पर 6 अक्टूबर तक सूर्यास्त रहेगा और वैज्ञानिकों की टीम प्रज्ञान रोवर और विक्रम लैंडर को संपर्क भेजते रहेंगे. 

क्या आप जानते हैं कि अगर स्लीप मोड मे विक्रम लैंडर और प्रज्ञान रोवर नहीं भी जगे तब भी यह भारत और इसरो के लिए बहुत उपयोगी हैं? 

प्रज्ञान रोवर ने अब तक काफी डेटा भेजा है जिसका अध्ययन वैज्ञानिकों की टीम कर रही है. चांद की सतह पर सल्फर जैसे बहुमूल्य खनिज के मिलने की पुष्टि हुई है.

चंद्रयान-3 की सफलता की चर्चा पूरी दुनिया में हो रही है और अब तीसरे चरण में स्लीप मोड में से लैंडर और रोवर को जगाने की कोशिश की जा रही है.

अगर रोवर और लैंडर नहीं भी जगते हैं तो भी मिशन 100 फीसदी सफल माना जाएगा और दोनों को चांद पर भारत के राजदूत के तौर पर हमेशा के लिए याद किया जाएगा.

चंद्रमा के साउथ पोल पर पहुंचने वाले पहले मिशन के तौर पर विक्रम लैंडर और प्रज्ञान रोवर इतिहास के पन्नों में हमेशा के लिए अमर हो जाएंगे.

चंद्रयान-3 की सफलता पर हर भारतीय को गर्व है और जी-20 समिट में भी भारत के सफल अंतरिक्ष अभियान की सराहना विकसित देशों ने भी की थी.

चंद्रयान-3 की सफलता के बाद अब भारत के सूर्य के अध्ययन के लिए भेजे पहले मिशन आदित्य एल-1 की सफलता के लिए पूरे देश में दुआ हो रही है.

सूर्य के रहस्यों का पता लगाने के लिए आदित्य एल-1 मिशन को भेजा गया है और यह भारत के इस मिशन की चर्चा चीन से लेकर अमेरिका तक में हो रही है.