Sep 1, 2023, 09:27 PM IST
ISRO Sun Mission के बारे में जरूरी 10 बातें जो आपको पता होनी चाहिए
DNA WEB DESK
चांद के दक्षिणी ध्रुव पर इतिहास रचने के बाद अब इसरो (ISRO) की नजर सूरज पर है. आदित्य एल-1 की लॉन्चिंग के लिए भारत तैयार है.
इसरो ने बताया कि इसे शनिवार (2 सितंबर) को सुबह 11 बजकर 50 मिनट पर आंध्र प्रदेश के श्रीहरिकोटा से पीएसएलवी (PSLV) से लॉन्च किया जाएगा.
भारत के पहले सौर मिशन 'आदित्य-एल1' की लॉन्चिंग का काउंटडाउन शुरू हो गया है. इसरो चीफ ने मिशन की सफलता के लिए तिरुपति जाकर दर्शन किए.
इसरो ने बताया, आदित्य-एल1 पृथ्वी से लगभग 1.5 मिलियन किमी दूर, सूर्य की ओर निर्देशित रहेगा. यह पृथ्वी और सूर्य के बीच की दूरी का 1 प्रतिशत है.
सबके मन में सवाल है कि क्या वाकई में आदित्य-एल1 सूर्य पर उतरेगा? क्या सूर्य की सतह पर इसरो का स्पेस क्राफ्ट पहुंचने वाला है?
इसरो ने बताया कि सूर्य गैस का एक विशाल गोला है और आदित्य-एल1 सूर्य के बाहरी वातावरण का अध्ययन करेगा. यह भारत का पहला सौर मिशन भी है.
इसरो ने बुधवार (30 अगस्त) को ही आदित्य-एल-1 मिशन का लॉन्च रिहर्सल और रॉकेट की आंतरिक पड़ताल पूरी कर ली थी.
इसरो के प्रमुख एस सोमनाथ ने बताया है कि इस मिशन को नियत स्थान पर पहुंचने में 125 दिन लगेंगे. पूरे विश्व की नजर भारत के अंतरिक्ष कार्यक्रमों पर है.
आदित्य-एल1 मिशन में अंतरिक्ष यान को लैग्रेंज बिंदु-1 (एल-1) के चारों ओर एक होलो ऑर्बिट में रखा जाएगा.
एल-1 बिंदु पर ग्रहण का असर नहीं पड़ता है और इस जगह से सूरज को लगातार देखा जा सकता है.
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