trendingNowhindi4010044

Bizarre World : वह पार्क जहां रोमांस के मूड में भी देशभक्ति गाने चलते हैं.

लड़की रोये जा रही थी. लड़का उसे थपकियां दे रहा था. यहां गाना चलना था, "तुम अपना रंजो गम" पर चल रहा था "दिलवाले तेरा नाम क्या है? क्रांति! क्रांति!"

Bizarre World :  वह पार्क जहां रोमांस के मूड में भी देशभक्ति गाने चलते हैं.
park

प्रेम को लेकर मुझे बड़ी समस्या अपने शहर के नगर निगम से है. सवाल है कि प्रेम का नगर निगम से क्या ताल्लुक ? प्रेम का ताल्लुक बेशक नहीं है लेकिन पास में एक पार्क है उसका ताल्लुक नगर निगम से है.

नगर निगम के उस पार्क में कुछ अरसा पहले तक बहुत ही रोमांटिक गीत बजते थे. कभी रफी के रोमांटिक गीत ,कभी लता मुकेश के डुएट , कभी किशोर कुमार के... वहां से गुजरना एक बहुत बेहतरीन अनुभव हुआ करता था. मैं कार या ऑटो के बजाय उधर से रिक्शा या पैदल जाना पसंद करती थी. रोज़ का रास्ता था कुछ न कुछ अच्छे दृश्य दिख जाया करते थे . रोमियो स्क्वाड के गठन से पहले प्रेमियों का तीर्थ स्थल था लेकिन स्क्वाड के डर से कम लोग आने लगे. फिर सख्ती कम तो हुई पर लोग कम ही दिखते हैं. अब महामारी की वजह से कॉलेज बंद होने से थोड़ा बहुत गुलज़ार हुआ है लेकिन वहां गाने बड़े होपलेस बजते है.

anita

मसलन एक दिन देखा एक लड़की रूठ कर जा रही थी लड़का तेजी से उसे “रुको तो, सुनो तो” बोल रहा था इस सिचुएशन में गाना बजना चाहिए, “ए रूठो न हसीना मेरी जान पे बन आएगी.”

Kiss Day: वे आए, उन्होंने चूमा और चले गए

लेकिन गाना चल रहा था, “देखो वीर जवानों अपने खून पे ये इल्ज़ाम न आये.”

एक दिन एक लड़का बाइक पर कोहनी से सिर टिकाए बड़ा मायूस बैठा था. लड़की उसकी बाइक की परिधि तक ही तेजी से चहलकदमी कर रही थी ( संभव है लड़के की मां ने कहा हो उस लड़की का नाम भी लिया तो ज़हर कहा लूंगी) अब यहां गाना चल सकता था,” जीत ही लेंगे बाजी हम -तुम प्यार हमारा छूटे न”, पर चल रहा था, “कर चले हम फिदा जान ओ तन साथियों. “

ऐसे ही एक बार लड़की रोये जा रही थी. लड़का उसे पीठ पर थपकियां दे रहा था. यहां गाना चलना था, “तुम अपना रंजो ग़म अपनी परेशानी मुझे दे दो” पर अफसोस चल रहा था “दिलवाले तेरा नाम क्या है? क्रांति! क्रांति!”

हर मूड में बस देशभक्ति गाने ही बजते हैं 

कुल मिलाकर हर वक़्त देशभक्ति की डोज के बजाय कुछ प्रेमियों के मूड का भी ख़याल रखा जाए. क्या हर वक़्त एक जैसे गाने चलाते रहते हो? कोई कर्मचारी इस म्यूजिकल सेंस पर भी ध्यान दे बड़ा इरिटेटिंग है.

ख़ैर प्रेम के विरोध में डंडा लेकर निकलने वाले युवाओं से फ़ूल लेकर निकलने वाले बेहतर हैं.

सबको शुभकामनाएं ... प्रेम बनाये रखिये / बचाये रखिये.

 

(अनिता मिश्रा भिन्न मुद्दों पर अपने चुटीले लेखन के लिए सोशल मीडिया पर मशहूर हैं.)

(यहां प्रकाशित विचार लेखक के नितांत निजी विचार हैं. यह आवश्यक नहीं कि डीएनए हिन्दी इससे सहमत हो. इस लेख से जुड़े सभी दावे और आपत्ति के लिए केवल लेखक ज़िम्मेदार है.)