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'उत्तराखंड में 20% कमीशन दिए बिना कोई काम नहीं होता', पूर्व सीएम तीरथ सिंह रावत का अपनी ही सरकार पर निशाना

Tirath Singh Rawat: तीरथ सिंह रावत ने कहा कि जब हम यूपी से अलग हुए तो काम के लिए 20 फीसदी तक कमीशन दिया जाता था.

'उत्तराखंड में 20% कमीशन दिए बिना कोई काम नहीं होता', पूर्व सीएम तीरथ सिंह रावत का अपनी ही सरकार पर निशाना
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डीएनए हिंदीः उत्तराखंड के पूर्व मुख्यमंत्री तीरथ सिंह रावत (Tirath Singh Rawat) का एक वीडियो खूब वायरल हो रहा है. इसमें वीडियो में वह इशारों-इशारों में अपनी सरकार पर निशाना साधते दिखाई दे रहे हैं. वीडियो में वह बिना कमीशन कोई काम ना होने की बात करते नजर आ रहे हैं. तीरथ सिंह वीडियो में कहते दिख रहे हैं कि मैं मुख्यमंत्री रहा हूं और शायद मुझे ऐसा नहीं कहना चाहिए. लेकिन मुझे ये स्वीकार करने में कोई हिचक नहीं है कि जब हम उत्तर प्रदेश से अलग हुए थे, तो वहां सार्वजनिक कामों के लिए 20% तक कमीशन दिया जाता था. रावत ने कहा, अलग राज्य होने के बाद, कमीशन खत्म हो जाना चाहिए था. लेकिन यह जारी रहा.

'अलग राज्य के बाद भी कमीशन नहीं हुआ खत्म'
तीरथ सिंह रावत ने कहा कि उत्तर प्रदेश से अलग होने के बाद कमीशन को शून्य पर आ जाना चाहिए था लेकिन दुर्भाग्य से यह आज भी जारी है और “हमने 20 प्रतिशत कमीशन के साथ शुरू किया है .” उत्तराखंड 9 नवंबर 2000 को उत्तर प्रदेश से अलग होकर अस्तित्व में आया था. रावत ने कहा  “मुझे बताया गया है कि यहां बिना कमीशन दिए कोई कुछ नहीं करवा सकता.” उन्होंने कहा, ' कमीशनखोरी उत्तर प्रदेश में प्रचलित थी और दुर्भाग्य से यह अब उत्तराखंड में भी जारी है. ” 

रावत ने हालांकि कहा कि इसके लिए कोई एक व्यक्ति जिम्मेदार नहीं है. उन्होंने कहा, “ यह एक मानसिकता है. यह तभी ठीक होगी जब हमारे अंदर यह भाव आएगा कि यह अपना प्रदेश है, अपना परिवार है.” पूर्व मुख्यमंत्री पहले भी अपने बयानों से विवाद पैदा करते रहे हैं. पिछले साल मार्च में भी रावत संस्कारों के अभाव में युवाओं के फटी जींस पहनने को लेकर दिए बयान के कारण सुर्खियों में रहे थे. उसके कुछ समय बाद, उन्होंने यह कहकर विवाद को जन्म दिया था कि अमेरिका ने 200 साल तक भारत को गुलाम बनाकर रखा.  

इनपुट -भाषा

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