Twitter
Advertisement
  • LATEST
  • WEBSTORY
  • TRENDING
  • PHOTOS
  • ENTERTAINMENT

Diwali Lighting : दिवाली में दीये जलाने के ये चमत्कारिक प्रभाव जान लें, नहीं खरीदेंगे लाइट्स और मोमबत्ती

Mitti Diya ka Mahatva: दिवाली पर मिट्टी के दीये जलाना ग्रह और नक्षत्रों से भी जुड़ा है. मंगल और शनि से दीये का कनेक्शन जानकर आप लाइट्स जलाना छोड़ देंगे.

Latest News
Diwali Lighting : दिवाली में दीये जलाने के ये चमत्कारिक प्रभाव जान लें, नहीं खरीदेंगे लाइट्स और मोमबत्ती

दिवाली में दीये जलाने के ये चमत्कारिक प्रभाव जान लें, नहीं खरीदेंगे लाइट्स और मोमबत्ती 

FacebookTwitterWhatsappLinkedin

डीएनए हिंदीः अगर आपको लगता कि धनतेरस या दिवाली में दीये जलाना केवल एक परंपरा है तो बता दें कि इस परंपरा के पीछे अध्यात्मिक और ज्योतिष महत्व भी है. अगर आप दिवाली पर मोमबत्ती या लाइट्स खरीदने जा रहे हैं तो आपको इस खबर को जरूर पढ़ लेना चाहिए. 

दीये जलाने से केवल आप अपने ही घर में नहीं, बल्कि कई घरों में सुख,समृद्धि और शांति का वास कराते हैं. असल में दिये खरीद कर आप कई और घरों में सुख पहुंचा रहे होते हैं. आज इस खबर में आपको हम दीये जलाने के ज्योतिष प्रभावों, ग्रहों के असर के साथ ही यह भी बताएंगे कि महंगाई में दीये बेचने वाले कुम्हारों को एक दिए की में कितनी कमाई होती है ओर उनके लिए यह काम कितना भारी पड़ रहा है.

यह भी पढ़ें: Diwali Calendar: 22 अक्‍टूबर से शुरू होगा दिवाली का पंच दिवसीय त्‍योहार, धनतेरस से भाईदूज तक का ये रहा कलेंडर

मिट्टी के दीया जलाने से मंगल और शनि का मिलता है आशीर्वाद
मिट्टी को मंगल ग्रह का प्रतीक माना गया है और मंगल साहस, पराक्रम प्रदान करने वाला हेाता है. वहीं जब दीये में तेल शनि का प्रतीक है. शनि को भाग्य और न्याय के देवता माने गए हैं. यही कारण है कि ज्योतिष में मिट्टी का दीपक जलाने से मंगल और शनि दोनों की कृपा पाने के बारे में बताया गया है. यही नहीं मिट्टी को बेहद शुद्ध माना गया है और दीपक या मिट्टी के बर्तन में रखी चीजें ईश्वर को प्रिय होती हैं. 

मान्यता है कि मिट्टी के दीपक की रौशन सी न केवल आसपास का अंधेरा मिटता है,बल्कि इससे शारीरिक और मानसिक विकार भी दूर होते हैं और घर से नाकरात्मकता दूर होकर सकारात्मकता का वास होता है. दीये की रौशनी को सुख, समृद्धि, स्फूर्ति का प्रतीक माना गया है. 

पचं तत्वों का प्रतिनिधित्व करता है मिट्टी का दीया
हिंदू धर्म में पंचतत्वों से शरीर बनने की बात की गई है और दीया भी इसी का प्रतीक है. यह पंचतत्व जल, वायु, अग्नि, आकाश व भूमि के सहयोग से ही मिट्टी का दीया बनता है. जब दीये को जलाया जाता हैं तो यह तीनों लोकों और तीनों काल का भी प्रतिनिधित्व करता है. इसमें मिट्टी का दीया हमें पृथ्वी लोक व वर्तमान को दिखाता है जबकि उसमे जलने वाला तेल या घी भूतकाल व पाताल लोक का प्रतिनिधित्व करता हैं. जब हम उसमे रुई की बत्ती डालकर प्रज्जवलित करते हैं तो वह लौ आकाश, स्वर्ग लोक व भविष्यकाल का प्रतिनिधित्व करती है.

यह भी पढ़ें: 22 या 23 अक्टूबर कब है धनतेरस, जानें धन त्रयोदशी का शुभ योग और खरीदारी का मुहूर्त

पर्यावरण को नुकसान नहीं पहुंचाते हैं दीये
मिट्टी से निर्मित मूर्तियां दीये व खिलौने पूरी तरह इको-फ्रेंडली होते हैं. इन्हें बनाने में किसी भी तरह का केमिकल प्रयोग नहीं होता. इन्हें वापस से मिट्टी में डाला जा सकता है. 

कीट-पतंगे होते हैं खत्म
दिवाली के समय कीट-पतंगे और मच्छरों का प्रकोप बहुत होता है और लाइट्स पर ये सबसे ज्यादा मंडराते हैं लेकिन दीपक जलाने से ये खत्म हो जाते हैं. दिवाली पर सरसों के तेल से मिट्टी के दीये जलाए जाते हैं तो इन सभी जीवाणुओं का नाश होता. 

महंगाई की मारः 20 रूपये में 50 दीये और 25 रुपये में 10 मीटर लाइट
महंगाई के चलते दीपावली पर मिट्टी के दीपक जलाना रस्म बन कर रह गया गया है. लोग पूजा में केवल इन दीये को जलाते हैं और सजावट के लिए लाइटों का प्रयोग करते हैं. दीये बेचने वाले राजुकमार ने बताया कि उनके दादा बताते थे कि नवरात्रि से लेकर पूरे कार्तिक मास तक दीये की बिक्री खूब होती थी लेकिन उनका कहना है अब ऐसा नहीं है. 

यह भी पढ़ें: कब है नरक चतुर्दशी, नोट कर लें डेट, जानें यम पूजा का शुभ मुहूर्त  

दीवाली पर दीये की मांग भी कम है और इससे होने वाला मुनाफा भी कम. राजकुमार ने बताया कि एक छोटे दीये की कीमत डेढ से ढाई रूपये है. उनका कहना है कि एक दीये पर उन्हें एक रूपये भी मुश्किल से मिलते हैं. आज 20 रूपये में वह 50 दीये बेचते हैं. जबकि बाजार में मिलने वाली 25 रुपये की चाइनीज झालर इसे दीये के महत्व को कम कर दी है. दीये में तेल भी जाता है. और ये लाइट्स की तरह लंबे समय तक नहीं जलतीं. राजकुमार ने बताया कि मुश्किल से लोग 50 दीये ही खरीदते हैं. पूजा के काम के लिए और बाकी वो लाइट खरीद लेते हैं. 

(Disclaimer: यहां दी गई जानकारी सामान्य मान्यताओं और जानकारियों पर आधारित है. डीएनए हिंदी इसकी पुष्टि नहीं करता है.)

देश-दुनिया की ताज़ा खबरों Latest News पर अलग नज़रिया, अब हिंदी में Hindi News पढ़ने के लिए फ़ॉलो करें डीएनए हिंदी को गूगलफ़ेसबुकट्विटर और इंस्टाग्राम पर 

 

Advertisement

Live tv

Advertisement

पसंदीदा वीडियो

Advertisement