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UP Election 2022: अगर सीएम योगी ने ये कर दिखाया तो टूट जाएगा 36 साल का रिकॉर्ड

सीएम योगी अंधविश्वास पर कभी यकीन नहीं करते हैं. इस मामले में वह पिछले मुख्यमंत्रियों से कई मायनों में अलग रहे हैं. 

UP Election 2022: अगर सीएम योगी ने ये कर दिखाया तो टूट जाएगा 36 साल का रिकॉर्ड
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डीएनए हिंदीः उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ (CM Yogi Adityanath) पिछले मुख्यमंत्रियों से कई मायनों में अलग है. अंधविश्वास से उनका दूर-दूर तक नाता नहीं है. इससे उलट वह कई बार ऐसे काम कर चुके हैं जिन्हें करने से पिछले मुख्यमंत्री कतराते थे. उन्हें अपने कार्यकाल में ना तो नोएडा आने का खौफ रहा और ना ही गेस्ट हाउस में रुकने का. इसके साथ ही एक और ऐसा अंधविश्वास है जिसे तोड़ने का सीएम योगी दम भर रहे हैं. यूपी में पिछले 36 साल में कोई भी पार्टी दोबारा सरकार बनाने में सफल नहीं रही है. 

एनडी तिवारी के बाद नहीं बना कोई दोबारा सीएम
उत्तर प्रदेश में पिछले कई दशकों से कोई पार्टी दोबारा सत्ता में नहीं आई. इसके पहले एनडी तिवारी (N D Tiwari) ही लगातार दो बार मुख्यमंत्री रहे. 1985 से कोई भी राज्‍य में लगातार दूसरी बार सीएम नहीं बना है. सीएम योगी कई मौकों पर कह चुके हैं कि वह अंधविश्वासों पर यकीन नहीं करते. इन्हें तोड़ने के लिए वह हमेशा कोशिश करते हैं. योगी से पहले बीजेपी का कोई भी सीएम प्रदेश में तीन साल से ज्‍यादा का कार्यकाल पूरा नहीं कर सका. कल्याण सिंह ने दो बार और राम प्रकाश गुप्‍ता व राजनाथ सिंह ने एक-एक बार प्रदेश की कमान संभाली. हालांकि इनमें से कोई भी लगातार 3 साल से ज्‍यादा कुर्सी पर नहीं रहा.  

मुख्‍यमंत्रियों में रहा नोएडा आने का खौफ
नोएडा को लेकर सिगिंट मुख्यमंत्रियों में खौफ रहा है. दरअसल ऐसा मिथक रहा है कि जो भी मुख्यमंत्री नोएडा आता है इसकी कुर्सी चली जाती है. नोएडा को सीएम की कुर्सी के लिए मनहूस तक माना जाने लगा. दरअसल इसके पीछे लोगों के अपने तर्क भी हैं. जून 1988 में नोएडा से लौटने के कुछ दिनों बाद तत्‍कालीन सीएम वीर बहादुर सिंह को पद छोड़ना पड़ा था. इसके बाद एनडी तिवारी (1989), मायावती (1997 में सत्ता गंवाई) और कल्याण सिंह (1999) नोएडा का दौरा करने के बाद कुर्सी से चले गए. इसके बाद तो मुख्यमंत्रियों ने नोएडा से किनारा ही कर लिया. 

पूर्व सीएम अखिलेश यादव तो नोएडा से इतना खौफ खा गए कि उन्‍होंने 2013 में नोएडा में आयोजित एशियाई विकास बैंक शिखर सम्मेलन तक में शिरकत नहीं की. इसमें तत्कालीन प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह मुख्य अतिथि थे. इतना ही नहीं यमुना एक्सप्रेस-वे का उद्घाटन भी उन्होंने लखनऊ से ही रिमोट कंट्रोल से कर दिया.  
 
सीएम योगी कई बार आए नोएडा
सीएम योगी कई बार नोएडा का दौरा कर चुके हैं. 23 सितंबर, 2017 को उन्होंने बॉटनिकल गार्डन-कालकाजी मैजेंटा मेट्रो लाइन के उद्घाटन के लिए पीएम मोदी की यात्रा से पहले व्यवस्था की जांच करने के लिए शहर का दौरा किया. दो दिन बाद 25 सितंबर को वह पीएम मोदी के साथ मेट्रो लाइन का उद्घाटन करने पहुंचे थे. 2018 में वह पीएम की यात्रा की व्यवस्था की निगरानी के लिए 8 जुलाई को नोएडा पहुंचे थे. एक दिन बाद वह नोएडा में सैमसंग की दुनिया की सबसे बड़ी मोबाइल फैक्ट्री के उद्घाटन के मौके पर शहर पहुंचे थे. हाल ही में वह पीएम मोदी के साथ जेवर एयरपोर्ट की आधारशिला रखने भी पहुंचे.  

सर्किट हाउस को लेकर भी अंधविश्‍वास
नोएडा ही नहीं एक अंधविश्वास आगरा के सर्किट हाउस को लेकर भी है. यहां पिछले 16 साल से कोई सीएम नहीं ठहरा. राजनाथ सिंह जब सर्किट हाउस में रुके तो कुछ समय बाद उनकी कुर्सी चली गई. आगरा सर्किट हाउस को लेकर मुख्‍यमंत्रियों में इतना खौफ रहा कि मुलायम सिंह यादव, मायावती और यहां तक अखिलेश यादव इसमें ठहरने की हिम्‍मत नहीं जुटा पाए. हालांकि सीएम योगी ने एक मिथक को तोड़ा. 

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