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बांग्लादेश में सुधरने लगे हालात, भारतीय वीजा केंद्र खुले, जानिए कौन VISA के लिए कर सकता है अप्लाई

बांग्लादेश में सरकारी नौकरियों में आरक्षण के खिलाफ जुलाई के महीने से छात्रों का बड़ा आंदोलन शुरू हुआ था. जिसकी वजह से शेख हसीना को पीएम पद की कुर्सी गंवानी पड़ी

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Indian visa centers opened in Bangladesh

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बांग्लादेश में धीरे-धीरे हालात सामान्य होने लगे हैं. देश के कुछ प्रमुख शहरों में भारतीय वीजा आवेदन केंद्रों को खोल दिया गया है. इन सेंटर्स पर तत्काल चिकित्सा और छात्र वीजा की आवश्यकता वाले बांग्लादेशी नागरिकों को सीमित अपॉइंटमेंट स्लॉट की पेशकश शुरू की गई है. ये सेवाएं ढाका, चटगांव, राजशाही, सिलहट और खुलना में प्रदान की जा रही हैं.

बांग्लादेश में भारतीय वीजा आवेदन केंद्र (IVAC) ने एक बयान में कहा, 'इसके अलावा, इन पांच केंद्रों ने उन अत्यावश्यक मामलों के लिए सीमित आवेदन स्लॉट भी खोले हैं, जहां बांग्लादेशी छात्रों और श्रमिकों को तीसरे देश की यात्रा करने की आवश्यकता होती है और जिनके लिए उन्होंने पहले से ही भारत में विदेशी दूतावासों के साथ वीजा के लिए समय ले रखा है.'

बांग्लादेश में सरकारी नौकरियों में आरक्षण के खिलाफ जुलाई के महीने से छात्रों का बड़ा आंदोलन शुरू हुआ था. जिसने बाद में बड़ा हिंसक रूप ले लिया था. 5 अगस्त को शेख हसीना के नेतृत्व वाली अवामी लीग सरकार को सत्ता से हटा दिया गया. इस विरोध प्रदर्शनों के कारण 600 से अधिक लोग मारे जा चुके हैं. वर्तमान में 84 वर्षीय नोबेल पुरस्कार विजेता मुहम्मद यूनुस के नेतृत्व में एक अंतरिम सरकार देश चला रही है.

17 पूर्व मंत्रियों के बांग्लादेश छोड़ने पर रोक
बांग्लादेश की एक अदालत ने सोमवार को पूर्व विदेश मंत्री मोहम्मद हसन महमूद सहित 17 पूर्व मंत्रियों, और अपदस्थ शेख हसीना सरकार के 9 सांसदों के देश छोड़ने पर प्रतिबंध लगा दिया. भ्रष्टाचार रोधी एक संस्था ने इन पूर्व मंत्रियों और सांसदों के भ्रष्टाचार में संलिप्त होने का आरोप लगाते हुए याचिका दायर की थी.


यह भी पढ़ें- हसीना सरकार के गिरने के बाद अब शहबाज शरीफ का यूनुस को फोन, भारत के लिए चिंता की स्थिति?


स्थानी मीडिया के अनुसार, ढाका मेट्रोपोलिटन वरिष्ठ विशेष न्यायाधीश मोहम्मद अस-शम्स जगलुल हुसैन की अदालत ने भ्रष्टाचार रोधी आयोग (एसीसी) की अर्जियों पर सुनवाई के बाद यह आदेश दिया. आयोग के लोक अभियोजक मीर अहमद अली सलाम और महमूद हुसैन जहांगीर ने इन पूर्व मंत्रियों और संसद सदस्यों पर यात्रा प्रतिबंध की पुष्टि की. 

जिन लोगों पर देश छोड़ने पर प्रतिबंध लगाया गया है, उनमें पूर्व विदेश मंत्री हसन महमूद, पूर्व विद्युत, ऊर्जा एवं खनिज संसाधन राज्य मंत्री नसरुल हामिद, पूर्व जहाजरानी राज्य मंत्री खालिद महमूद, पूर्व आईसीटी (सूचना संचार प्रौद्योगिकी) राज्य मंत्री जुनैद अहमद पलक और पूर्व प्राथमिक एवं जन शिक्षा राज्य मंत्री मोहम्मद जाकिर हुसैन शामिल हैं. 

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