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NCPCR की रिपोर्ट- Covid के कारण अनाथ हुए 1.47 लाख से ज्यादा बच्चे

11 जनवरी तक कुल 1,36,910 बच्चों ने अपने माता-पिता को खो दिया, 488 को छोड़ दिया गया, जिससे कुल 1,47,492 बच्चों को सहारे की जरूरत है.

NCPCR की रिपोर्ट- Covid के कारण अनाथ हुए 1.47 लाख से ज्यादा बच्चे
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डीएनए हिंदी: राष्ट्रीय बाल अधिकार संरक्षण आयोग (NCPCR) द्वारा जारी की गई एक रिपोर्ट के अनुसार, 1 अप्रैल 2020 से लेकर अब तक करीब 1.47 लाख बच्चों ने कोविड-19 (Covid-19) के चलते अपने माता-पिता को खो दिया है.

आयोग ने राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों द्वारा अपलोड किए गए आंकड़ों के आधार पर सुप्रीम कोर्ट को बताया कि 10,094 अनाथों को देखभाल और संरक्षण की आवश्यकता के बाद, अपने बाल स्वराज पोर्टल-कोविड देखभाल (Bal Swaraj Covid Care) पर 11 जनवरी तक कुल 1,36,910 बच्चों ने अपने माता-पिता को खो दिया, 488 को छोड़ दिया गया, जिससे कुल 1,47,492 बच्चों को सहारे की जरूरत है.

जानकारी देते हुए आयोग ने बताया कि इन बच्चों में बच्चों में 76,508 लड़के, 70,980 लड़कियां और चार ट्रांसजेंडर हैं. बच्चों की अधिकतम संख्या (59,010) आठ से 13 वर्ष के बीच है, इसके बाद 14 से 15 साल के 22,763 बच्चे, 16 से 18 साल के 22,626 और चार आयु वर्ग से सात साल तक के 26,080 बच्चे हैं.

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महामारी की पृष्ठभूमि में, सुप्रीम कोर्ट ने सोमवार को सभी जिलाधिकारियों (डीएम) को निर्देश दिया कि वे जिला कानूनी सेवा प्राधिकरण (District Legal Services Authority) और स्वैच्छिक संगठनों के साथ मिलकर सड़क की स्थितियों में बच्चों का पुनर्वास करें. न्यायमूर्ति एल नागेश्वर राव और न्यायमूर्ति बीवी नागरत्ना की पीठ ने कहा, हम सभी डीएम को बिना किसी और देरी के सड़कों पर बच्चों की पहचान में डीएलएसए और स्वयंसेवी संगठनों को शामिल करने का निर्देश देते हैं.

पीठ ने कहा कि केंद्र सरकार और राज्य सरकारों द्वारा सड़क की स्थिति में बच्चों को आश्रय प्रदान करने के लिए तत्काल कदम उठाने की आवश्यकता है.

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पीठ ने जोर दिया कि बच्चों को आश्रय गृहों में स्थानांतरित किया जाना चाहिए और डीएम को एनसीपीसीआर के वेब पोर्टल पर सभी चरणों में जानकारी अपलोड करने का भी निर्देश दिया.

पीठ ने आगे कहा कि राज्य सरकारों और केंद्र शासित प्रदेशों (यूटी) को बिना किसी और देरी के बच्चों की पहचान और पुनर्वास के लिए संबंधित अधिकारियों के साथ जुड़ना चाहिए.

(इनपुट- आईएएनएस)

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