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देश के सबसे बड़े वैज्ञानिक संस्थान की प्रमुख बनीं Nallathamby Kalaiselvi, पहली बार एक महिला को मिला है यह पद

तमिलनाडु में तिरुनेलवेली जिले के छोटे-से शहर में कलाइसेल्वी का जन्म हुआ था. उन्होंने शुरुआती शिक्षा तमिल स्कूल से ली थी. कॉलेज के दिनों में उनकी दिलचस्पी साइंस विषय में हुई.

देश के सबसे बड़े वैज्ञानिक संस्थान की प्रमुख बनीं Nallathamby Kalaiselvi, पहली बार एक महिला को मिला ह�ै यह पद

Nallathamby Kalaiselvi

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डीएनए हिंदी: वरिष्ठ वैज्ञानिक नल्लाथम्बी कलाइसेल्वी  (Nallathamby Kalaiselvi) को काउंसिल ऑफ साइंटिफिक एंड इंडस्ट्रियल रिसर्च (CSIR) का महानिदेशक नियुक्त किया गया है.इसी के साथ वह इस पद तक पहुंचने वाली देश की पहली महिला बन गई हैं. वह शेखर मांडे की जगह इस पद को संभालेंगी.  शेखर मांडे अप्रैल में रिटायर हुए थे. उनके बाद बायोटेक्नोलॉजी विभाग के सचिव राजेश गोखले को CSIR का अतिरिक्त प्रभार दिया गया था. अब इस पद पर नल्लाथम्बी कलाइसेल्वी काम करेंगी. इसके साथ ही उन्हें साइंटिफिक एंड इंडस्ट्रियल रिसर्च डिपार्टमेंट की सचिव का अतिरिक्त प्रभार भी दिया गया है. 

कौन हैं नल्लाथम्बी कलाइसेल्वी  (Nallathamby Kalaiselvi)
नल्लाथम्बी कलाइसेल्वी को विज्ञान की दुनिया में लिथियम आयन बैटरी के क्षेत्र में अद्भुत कार्य के लिए जाना जाता है. वह अभी तमिलनाडु के करईकुडी में CSIR के केंद्रीय विद्युत रासायनिक अनुसंधान संस्थान (CECRI) की निदेशक हैं. कलाइसेल्वी ने बीते कई बरसों के दौरान CSIR में नौकरी करते हुए अपनी खास जगह बनाई.फरवरी 2019 में वह CECRI का नेतृत्व करने वाली भी पहली महिला बनी थीं. उन्होंने CSIR में एंट्री लेवल साइंटिस्ट के तौर पर अपना करियर शुरू किया था. CSIR  देशभर के 38 अनुसंधान संस्थानों का एक संघ है. इसके महानिदेशक के पद पर नल्लाथम्बी कलाइसेल्वी की नियुक्ति दो साल की अवधि के लिए है.

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क्या हैं खास उपलब्धियां
तमिलनाडु में तिरुनेलवेली जिले के छोटे-से शहर में कलाइसेल्वी का जन्म हुआ था. उन्होंने शुरुआती शिक्षा तमिल स्कूल से ली थी. कॉलेज के दिनों में उनकी दिलचस्पी साइंस विषय में हुई. आज वह 25 सालों के करियर में 125 से ज्यादा शोध पत्र और छह पेटेंट हासिल कर चुकी हैं. उनका खास कार्य विद्युत रासायनिक ऊर्जा प्रणाली, खासतौर से इलेक्ट्रोड के विकास पर केंद्रित रहा है. 

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